Move to Jagran APP
5/5शेष फ्री लेख

Investement In Gold: मई में खाली रहे निवेशकों के हाथ, सोने की खरीदारी करें या बिकवाली; किसमें अधिक फायदा

Gold Investor मई महीने में सोने के भाव में गिरावट दिखने को मिली है। ऐसा माना जा रहा है कि आगे भी सोने पर दबाव बना रहेगा। आइए जानते हैं कि किस वजह से सोने के भाव में गिरावट देखने को मिल रही है? सोने को निवेश का सबसे सुरक्षित जरिया माना जाता है। क्राइसिस के वक्त सोने की खरीदारी बढ़ जाती है।

By Priyanka KumariEdited By: Priyanka KumariUpdated: Mon, 05 Jun 2023 09:20 PM (IST)
Hero Image
Gold Investor: gold rate in global market

नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। Gold Investment: सोने के भाव में 31 मई को गिरावट देखने को मिली। है। कमोडिटी एक्सचेंज MCX में गोल्ड फ्यूचर्स 0.05 फीसदी की गिरावट के साथ 59,968 रुपये प्रति 10 ग्राम था। ग्लोबल मार्केट में सोना 1,955.28 डॉलर प्रति औंस था। यूएस गोल्ड फ्यूचर्स में भी 0.2 फीसदी गिरावट के साथ 1,954.80 था। मई महीने में नेट गिरावट1.7 फीसदी है।

गोल्ड में गिरावट क्यों आई है?

कई एक्सपर्ट्स ने सोने की गिरावट को लेकर कहा है कि इसकी सबसे बड़ी वजह अमेरिकी में डेट सीलिंग बढ़ाना है। अमेरिकी में डेट सीलिंग बढ़ाने पर सरकार और विपक्ष के बीच सहमति बन गई है। इसी के साथ अगले महीने अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व के ब्याज दर में 0.25 फीसदी बढ़ाने का भी अनुमान लगाया जा रहा है।

मई महीने की शुरुआत में सोने में तेजी आई थी

30 मई को सोने की कीमत में हल्की तेजी देखने को मिली थी। 31 मई को गोल्ड की कीमत 1 फीसदी चढ़कर 1,959.1 डॉलर प्रति औंस पर बंद हुआ था। हालांकि, सोने की कीमत में पिछले दो महीने के लोअर लेवल से रिकवरी देखने को मिली है।

इसका मुख्य कारण है कि डॉलर हाई लेवल से नीचे आया है। इसके अलावा डेट सीलिंग बढ़ने को लेकर स्थिति स्पष्ट नहीं है। ऐसे में निवेशक काफी चिंता में दिख रहे थे। इसी वजह से सोने में खरीदारी बढ़ी थी। सोने को निवेश का सबसे सुरक्षित जरिया माना जाता है। यही वजह है कि क्राइसिस के वक्त सोने की खरीदारी बढ़ जाती है, जिससे इसकी कीमतों में उछाल आ जाता है।

सोना खरीदना हुआ महंगा

मुंबई में सोने का थोक कारोबार करने वाले प्रखर पांडे बताते हैं

अमेरिका में ट्रेजरी यील्ड में गिरावट आने से गोल्ड को सपोर्ट मिला है। अभी गोल्ड को 1,940 डॉलर का सपोर्ट मिला है। मई की शुरुआत में गोल्ड में रुक-रुक कर तेजी आई थी, जो कि अब खत्म हो चुकी है। मई महीने की शुरुआत में गोल्ड का रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंच गया था। इसके बाद गोल्ड में गिरावट आ गई है। अगर डॉलर मजबूत होता है तो इसका सीधा असर गोल्ड पर पड़ेगा। ऐसे में भारत जैसे कई देशों में गोल्ड की कीमत बढ़ जाएगी।

कैसा है गोल्ड का आउटलुक?

एक्सपर्ट्स ने गोल्ड फ्यूचर्स 60,000 रुपये प्रति ग्राम पहुंचने पर बिकवाली की सलाह दे दी है। इसके लिए टारगेट प्राइस 59,600 रुपये प्रति 10 ग्राम होगा। जो कि 60,200 रुपये पर स्टॉपलॉस लगाना होगा।