भारत से बांग्लादेश को है उम्मीद, प्रस्तावित पाइपलाइन से 2023 तक मिल सकेगा तेल
India Bangladesh Oil Import अगले साल यानी 2023 से बांग्लादेश को भारत से तेल मिलने की पूरी उम्मीद है। इस क्रम में वहां की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने रविवार को स्पष्ट कहा है कि प्रस्तावित पाइपलाइन के जरिए अगले साल तक भारत से तेल आयात हो सकेगा।
By Jagran NewsEdited By: Monika MinalUpdated: Mon, 21 Nov 2022 11:34 AM (IST)
ढाका, एजेंसी। बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना (Sheikh Hasina) ने भारत से तेल आयात को लेकर उम्मीद जाहिर की है। दरअसल प्रस्तावित पाइपलाइन परियोजना अगले साल (2023) तक पूरी होने की संभावना है। इसी पाइपलाइन के जरिए भारत से तेल बांग्लादेश पहुंचेगा।
ढाका में अपने आवास पर बांग्लादेशी पीएम ने रविवार को असम विधानसभा ( Assam Legislative Assembly) अध्यक्ष बिस्वजीत दायमारी (Biswajit Daimary) के साथ बैठक के दौरान यह उम्मीद जाहिर की।
नॉर्थईस्ट से 32 विधायकों की एक टीम बांग्लादेश के दौरे पर है जिसमें से चार सदस्यों के एक प्रतिनिधिमंडल के साथ अध्यक्ष ने बांग्लादेश की प्रधानमंत्री से रविवार को मुलाकात की। 130 किमी की भारत-बांग्लादेश फ्रेंडशिप पाइपलाइन (IBFPL) परियोजना का मकसद पश्चिम बंगाल में सिलीगुड़ी मार्केटिंग टर्मिनल से तेल उत्पादों को आयात करना है।
1965 युद्ध के दौरान बंद कर दिए गए थे कुछ मार्ग
हसीना ने इस मुलाकात के दौरान उन मार्गों का भी जिक्र किया जो 1965 युद्ध के दौरान बंद कर दिए गए थे। उन्होंने बताया कि अब इन मार्गों को विभिन्न चरणों में खोल दिया गया है। प्रधानमंत्री ने भारत के पूर्वोत्तर राज्यों और पश्चिम बंगाल के योगदान के प्रति आभार व्यक्त किया। बता दें कि साल 1971 में बांग्लादेश के शरणार्थियों व स्वतंत्रता सेनानियों को भारत के इन्हीं इलाकों में रहने को जगह मिली थी।
भारत-बांग्लादेश फ्रेंडशिप पाइपलाइन
क्षेत्रीय सहयोग पर जोर देते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि नेपाल, भूटान और भारत के पूर्वोत्तर राज्य चित्तागोंग हवाई व समुद्री बंदरगाहों के साथ सैयदपुर एयरपोर्ट का इस्तेमाल कर सकते हैं । विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला ने पिछले साल दिसंबर में इस पाइपलाइन के बारे में बताया था। उन्होंने उम्मीद जताई थी कि 2022 में इसके उद्घाटन की संभावना है। विदेश सचिव ने कहा था कि भारत-बांग्लादेश फ्रेंडशिप पाइपलाइन पर काम अच्छी तरह से आगे बढ़ रहा है। साथ ही उन्होंने कहा था कि यह परियोजना दोनों देशों को अपनी ऊर्जा जरूरतों को एकीकृत करने में सक्षम बनाएगी।346 करोड़ रुपये की लागत से बन रहा पाइपलाइन
346 करोड़ रुपये की लागत के साथ विकसित की जा रही यह पाइपलाइन परियोजना भारत में पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी और बांग्लादेश में दिनाजपुर जिले के पार्बतीपुर को आपस में जोड़ेगी। सालाना 10 लाख मीट्रिक टन की क्षमता वाली इस पाइपलाइन को विदेश सचिव ने अहम और महत्वपूर्ण बताया था।