साहिबाबाद के लोग इन समस्याओं से परेशान, 200 घरों में नहाना-खाना बंद!
शनिवार को ट्रांस-हिंडन के कई इलाकों में पानी की किल्लत रही। कुछ क्षेत्रों में गंदा पानी आया, तो कुछ में पानी का दबाव कम रहा, जिससे लोगों को परेशानी हुई। बृज विहार कॉलोनी के निवासियों ने बताया कि सुबह गंदा पानी आने से स्टोर किया गया पानी भी दूषित हो गया। 200 से ज्यादा घरों में पानी नहीं आया। जलकल विभाग ने जल्द समाधान का वादा किया है।

शनिवार को ट्रांस-हिंडन के कई इलाकों में पानी की किल्लत रही।
जागरण संवाददाता, साहिबाबाद। ट्रांस-हिंद के कई इलाकों में शनिवार को पानी की किल्लत रही। कुछ इलाकों में गंदा पानी आया, तो कुछ इलाकों में कम दबाव रहा। इससे पूरे दिन लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा। निवासियों ने बताया कि पीने का पानी सीवर के पानी में मिल गया था, जिससे काम करना मुश्किल हो गया।
बृज विहार कॉलोनी के निवासियों ने बताया कि सुबह जब पानी की मोटर चालू की गई, तो गंदा पानी आ रहा था। इससे स्टोर किया गया पानी दूषित हो गया। उन्हें पूरा दिन पानी नहीं मिला और उन्हें दुकानों से बोतलबंद पानी खरीदना पड़ा। निवासियों ने बताया कि यह कोई एक दिन की समस्या नहीं है, बल्कि गंदे पानी की आपूर्ति रोजाना होती है, जिससे उन्हें पूरा दिन काम करने में दिक्कत होती है।
जब वे जलकल विभाग के अधिकारियों से शिकायत करते हैं, तो वे जल्द समाधान का वादा करते हैं, लेकिन स्थिति जस की तस बनी रहती है। कॉलोनी के अजय शर्मा का कहना है कि एक तरफ तो हाउस टैक्स कई गुना बढ़ा दिया गया है, वहीं दूसरी तरफ साफ पानी भी नहीं मिल रहा है।
200 से ज्यादा घरों में पानी नहीं
निवासियों ने बताया कि गंदे पानी की आपूर्ति हो रही है, लेकिन 200 से ज्यादा घरों में पानी नहीं आया। जब उन्होंने अधिकारियों से शिकायत की, तो उन्होंने पाइपलाइन में खराबी बताकर जल्द समाधान का वादा किया।
इन इलाकों में भी कम पानी की आपूर्ति
ट्रांस हिंडन के इंदिरापुरम में नीति खंड-3, कड़कड़ मॉडल और शालीमार गार्डन एक्सटेंशन 2 में भी पानी का दबाव कम रहा। इससे निवासियों को पर्याप्त पानी नहीं मिल पा रहा था। कड़कड़ मॉडल के अरुण ने बताया कि उन्हें रोज़ाना पानी की किल्लत का सामना करना पड़ता है।
कुछ इलाकों में पेयजल लाइनें क्षतिग्रस्त होने के कारण गंदे पानी की आपूर्ति की शिकायतें आ रही हैं। इस पर ध्यान दिया जा रहा है। अन्य इलाकों में कम दबाव की शिकायतों के कारण लाइनों का निरीक्षण किया जा रहा है।
-केपी आनंद, महाप्रबंधक, जलकल विभाग।

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