भारत-नेपाल सीमा पर मरीजों का उपचार करेगा BHU, महाराजगंज पहुंचे अस्पताल के 18 डाक्टर; एक दिन में चार हजार पेशेंट का इलाज
BHU बीएचयू के चिकित्सा विज्ञान संस्थान के ख्यात चिकित्सक भारत-नेपाल सीमा पर रहने वाले मरीजों का इलाज करेंगे। आइएमएस निदेशक प्रो. एसएन संखवार ने बताया कि दो दिन तक यहां पर टीम ठहरेगी। रात्रि प्रवास भी करना है। स्वास्थ्य सेवा के जरिए राष्ट्र की सेवा करना संस्थान का मुख्य उद्देश्य है। डाक्टर यहां से डाटा भी संग्रहित करेंगे जिसे रिसर्च में लागू करेंगे।
जागरण संवाददाता, वाराणसी। बीएचयू के चिकित्सा विज्ञान संस्थान के ख्यात चिकित्सक भारत-नेपाल सीमा पर रहने वाले मरीजों का इलाज करेंगे। शनिवार को चिकित्सा इकाई महाराजगंज पहुंच गई, उन्होंने पूरे दिन करीब चार हजार मरीज देखे हैं।
टीम में मेडिसिन, जनरल सर्जरी, चेस्ट और स्किन समेत कई विभागों के 18 डाक्टर शामिल हैं, वह सभी स्थानीय चिकित्सा अधिकारियों की मदद से लोगों का इलाज करने में जुटे हैं। कैंप लगाकर मरीजों को देखा जा रहा है।
आइएमएस निदेशक प्रो. एसएन संखवार ने बताया कि दो दिन तक यहां पर टीम ठहरेगी। रात्रि प्रवास भी करना है। स्वास्थ्य सेवा के जरिए राष्ट्र की सेवा करना संस्थान का मुख्य उद्देश्य है। डाक्टर यहां से डाटा भी संग्रहित करेंगे, जिसे रिसर्च में लागू करेंगे। यहां अधिकांश लोगों को खून की कमी और त्वचा संबंधित बीमारियां हैं। बहुत सारे लोगों को बीएचयू के सर सुंदरलाल अस्पताल में बुलाया गया है, यहां पर उनका बेहतर इलाज किया जाएगा।
जूनियर रेजिडेंट के छह आवेदन स्वीकृत
दो महीने पहले सीनियर रेजिडेंट और जूनियर रेजिडेंट पद के लिए आवेदन मांगे गए थे। जूनियर रेजिडेंट के 30 पदों के सापेक्ष सिर्फ सात आवेदन आए हैं। छह आवेदन स्वीकृत हो चुके हैं, उनका 13 फरवरी को साक्षात्कार होगा।उधर सीनियर रेजिडेंट पद के करीब 180 पदों के लिए 250 से अधिक आवेदन आ गए हैं। आवेदन पत्रों की स्क्रूटनी शुरू कर दी गई है। जल्द ही नियुक्ति प्रक्रिया पूर्ण की जाएगी ताकि बीएचयू अस्पताल में डाक्टरों की कमी दूर की जा सके।
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