नदी बनी वोट की दुश्मन! मतदान को लेकर चिंता में डूबे 700 वोटर, क्या है BDO का रिक्शा प्लान?
बांका के शंभुगंज में रामचुआ पंचायत के लखनपुर गोयड़ा गांव के लगभग 700 मतदाता मतदान को लेकर चिंतित हैं। बदुआ नदी के कारण मतदान केंद्र तक पहुंचना मुश्किल है, खासकर बुजुर्गों के लिए। नदी में पानी भरा होने से खतरा बढ़ गया है। युवाओं ने शिकायत की है, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। बीडीओ ई-रिक्शा की व्यवस्था करने की बात कर रहे हैं।

नदी बनी वोट का दुश्मन
संवाद सहयोगी, शंभुगंज (बांका)। दूसरे चरण का मतदान 11 नवंबर को होना है। पर प्रखंड के रामचुआ पंचायत के वार्ड संख्या एक और दो के मतदाताओं के सामने मतदान को लेकर बड़ी समस्या खड़ी हो गई है।
लखनपुर गोयड़ा गांव के करीब 700 से अधिक मतदाता वोट डालने को लेकर चिंतित हैं। दरअसल, इन दोनों वार्डों को बदुआ नदी विभाजित करती है, और मतदान केंद्र संख्या 78 व 79 नदी के पार पश्चिमी छोर पर स्थित है। गांव के उत्तरी हिस्से में बने चेक डैम के कारण नदी में लगभग 10 फीट से अधिक पानी भरा हुआ है, जिससे आवाजाही बेहद खतरनाक हो गई है।
मतदान केंद्र तक पहुंचना लगभग असंभव
गांव की 85 वर्षीय इंदूवाला देवी, 80 वर्षीय मांडवी देवी, अनिता देवी, मीना देवी, बाबू साहब तिवारी, नरेश यादव और रामकुमार तिवारी जैसे बुजुर्ग मतदाताओं ने बताया कि उनके लिए मतदान केंद्र तक पहुंचना लगभग असंभव है। नदी पार करने का एकमात्र सुरक्षित रास्ता तिलडीहा पुल से होकर गुजरता है, जो मुंगेर जिले की ओर है और वहां से होकर आने में करीब पांच किलोमीटर का चक्कर लगाना पड़ता है।
इससे बुजुर्ग मतदाताओं को दूरी और नदी की बाधा उनके उत्साह को कम कर रही है। गांव के युवाओं का कहना है कि इस समस्या की शिकायत कई बार बीएलओ से लेकर प्रखंड कार्यालय तक की गई, लेकिन कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। युवाओं ने कहा कि यदि बुजुर्ग मतदाता वोट नहीं डाल पाएंगे, तो वे भी मतदान से दूर रहेंगे।
ईरिक्शा से वोटरों को ले जाने की तैयारी
इस संबंध में बीडीओ नीतीश कुमार ने बताया कि गोयड़ा लखनपुर पंचायत में मतदान केंद्रों की दूरी की समस्या पर जिला निर्वाचन कार्यालय से बात की जा रही है। बुजुर्ग और दिव्यांग मतदाताओं के लिए ई-रिक्शा जैसी वैकल्पिक परिवहन व्यवस्था उपलब्ध कराने की तैयारी की जा रही है।

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