Bihar Politics: चुनाव से पहले लखीसराय में आने वाला है सियासी भूचाल, डिप्टी सीएम और प्रह्लाद यादव के कामों की गिनती शुरू
लखीसराय में डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा और सूर्यगढ़ा विधायक प्रह्लाद यादव के बीच विकास योजनाओं की अनुशंसा को लेकर प्रतिस्पर्धा है। विधायक यादव ने डिप्टी सीएम से ज़्यादा योजनाओं की अनुशंसा की है खासकर हैंडपंपों के मामले में। उनके क्षेत्र में कम लागत पर हैंडपंप लगाए जा रहे हैं। यह प्रतिस्पर्धा 2025 के चुनावों से पहले विकास कार्यों के माध्यम से दबदबा बनाने की कोशिश का संकेत है।

मृत्युंजय मिश्रा, लखीसराय। इन दिनों डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा और सूर्यगढ़ा विधायक प्रह्लाद यादव अक्सर राजनीतिक मंचों पर साथ नजर आ रहे हैं। एकता का संदेश देने वाली यह राजनीतिक नजदीकी, जमीनी स्तर पर योजनाओं की अनुशंसा करने के मामले में गलाकाट प्रतिस्पर्धा में तब्दील हो गई है।
योजना एवं विकास विभाग के स्थानीय क्षेत्र अभियंत्रण संगठन, कार्य प्रमंडल-01, लखीसराय द्वारा वर्ष 2025-26 के लिए जारी अल्पकालिक निविदा आमंत्रण सूचना संख्या-15 के तहत 53 विकास योजनाओं की सूची सार्वजनिक की गई है।
इन योजनाओं को लेकर स्थानीय जनप्रतिनिधियों की सक्रियता और प्राथमिकताएं एक बार फिर राजनीतिक बहस का विषय बन गई हैं।
सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि इन योजनाओं में सूर्यगढ़ा विधायक प्रह्लाद यादव ने 24 योजनाओं की अनुशंसा कर डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा पर राजनीतिक बढ़त बना ली है, जिन्होंने 21 योजनाओं की अनुशंसा की है। विधान परिषद सदस्य अजय कुमार सिंह ने सात और एनके यादव ने मात्र एक योजना की अनुशंसा की है।
हैंडपंपों में प्रतिस्पर्धा, भावनाओं में भी समीकरण
लोगों की मूलभूत जरूरत पानी के लिए लगाए जा रहे हैंडपंपों में भी दिलचस्प प्रतिस्पर्धा देखने को मिल रही है। प्रह्लाद यादव ने 18 हैंडपंपों की अनुशंसा की है, जबकि विजय कुमार सिन्हा ने 17 हैंडपंपों की। अजय सिंह और एनके यादव ने एक-एक हैंडपंप की अनुशंसा की है।
खास बात यह है कि विधायक यादव के क्षेत्र में मात्र 81,200 रुपये की लागत से हैंडपंप लगाए जाएंगे, जबकि उपमुख्यमंत्री के क्षेत्र में इसकी लागत 91,000 रुपये प्रति हैंडपंप तय की गई है। जलस्तर के लिहाज से देखा जाए तो सूर्यगढ़ा में पानी की उपलब्धता कम है, इसके बावजूद वहां कम कीमत पर हैंडपंप लगाए जा रहे हैं।
इससे पता चलता है कि विधायक यादव ने न केवल ज़्यादा लोगों तक पानी पहुंचाने की मंशा दिखाई है, बल्कि बजट को लेकर भी सतर्क रहे हैं। सूर्यगढ़ा का भूजल स्तर 23 फीट आठ इंच है, जबकि लखीसराय का 23 फीट पाँच इंच है।
पीसीसी से मोहभंग, भवन-पुस्तकालय के प्रति साझा प्रेम
उपमुख्यमंत्री विजय सिन्हा की योजनाओं में एक भी पीसीसी (पक्की सड़क/पक्की पथ) योजना नहीं है। संभवतः उनकी प्राथमिकता अब पीसीसी से हटकर सामाजिक संरचना की ओर हो गई है।
साथ ही, दोनों बड़े नेताओं की सामुदायिक भवनों और पुस्तकालयों में समान रुचि देखी गई है, जो दर्शाता है कि सामाजिक संवाद और शिक्षा के प्रति उनका एक जैसा दृष्टिकोण है। विधायक प्रह्लाद यादव ने पीसीसी की पांच योजनाओं की अनुशंसा की है।
विकास बनाम राजनीति की एक नई धारा
इस बार विकास कार्यों में अनुशंसा की राजनीति ने यह स्पष्ट कर दिया है कि कौन सा जनप्रतिनिधि जनता के जमीनी मुद्दों को लेकर गंभीर है और किसकी प्राथमिकता चुनावी संतुलन बनाना है। हैंडपंप जैसे बुनियादी मुद्दे पर भी खर्च और संख्याबल को लेकर नेताओं की पसंद और क्षेत्रीय नीति में अंतर है।
राजनीतिक साझेदारी और मंचीय मेलजोल के बावजूद, योजनाओं की अनुशंसा में यह होड़ दर्शाती है कि 2025 के विधानसभा चुनाव से पहले जनप्रतिनिधि अपने-अपने क्षेत्रों में विकास के जरिए दबदबा बनाने में लगे हैं।
5 अगस्त को होगा फैसला
अनुशंसित योजनाओं के लिए निविदा जमा करने और खोलने की अंतिम तिथि 5 अगस्त दोपहर 3 बजे तय की गई है। अब देखना यह है कि इन योजनाओं का क्रियान्वयन जमीनी स्तर पर कितना कारगर साबित होता है। तब तक ये आंकड़े राजनीतिक बहस और तुलना का आधार बने रहेंगे कि किसने कितना सोचा, कितना खर्च किया और कितना काम किया।
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