Muzaffarpur News: मिड-डे मील में गिरी छिपकली, खाने से 85 बच्चे हुए बीमार; 8 छात्रों की हालत गंभीर
मुजफ्फरपुर के सरैया में एक प्राथमिक विद्यालय में मध्याह्न भोजन खाने से 85 बच्चे बीमार हो गए। भोजन में छिपकली गिरने के कारण यह घटना हुई। गंभीर रूप से बीमार आठ बच्चों को एसकेएमसीएच रेफर किया गया जबकि अन्य बच्चों का इलाज सीएचसी में किया गया। प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी ने मामले की जांच के आदेश दिए हैं।

संवाद सहयोगी, सरैया (मुजफ्फरपुर)। प्राथमिक विद्यालय पोखरैरा बिचला टोला में बुधवार को विषाक्त मध्याह्न भोजन करने से 85 बच्चे बीमार पड़ गए। विद्यालय की रसोई में तैयार भोजन में छिपकली गिरी थी। रसोइया की जब तक नजर पड़ी, देर हो चुकी थी। उस समय मात्र 15 बच्चे ही मध्याह्न भोजन नहीं कर पाए थे।
घटना के बाद विद्यालय में अफरातफरी का माहौल बन गया। सभी बच्चों को आनन-फानन में सीएचसी लाया गया। इनमें आठ की हालत गंभीर देख उन्हें बेहतर इलाज के लिए एसकेएमसीएच रेफर किया गया है।
प्रधानाध्यापक रमेश राम ने बताया कि विद्यालय में कुल 102 बच्चे नामांकित हैं। बुधवार से अर्द्धवार्षिक परीक्षा शुरू हुई थी। 100 बच्चे परीक्षा में उपस्थित थे। एक पाली की परीक्षा के बाद बच्चे मध्याह्न भोजन कर रहे थे। इसी दौरान सब्जी में छिपकली गिरने की जानकारी रसोइए से मिली।
त्वरित कार्रवाई करते हुए तैयार भोजन को फेंक दिया गया। इसके साथ ही 62 बच्चों को एंबुलेंस से सीएचसी सरैया लाया गया।
यहां शिवानी कुमारी, आयुष कुमार सहित आठ बच्चों को चिकित्सकों ने एसकेएमसीएच मुजफ्फरपुर रेफर कर दिया। शेष बच्चों को इलाज के बाद घर भेज दिया गया। कुछ बच्चों को उनके स्वजन निजी अस्पताल भी ले गए। सभी रेफर किए गए बच्चे खतरे से बाहर बताए गए हैं।
बताया जाता है कि सूचना मिलते ही स्थानीय पैक्स अध्यक्ष राजन कुमार और पूर्व मुखिया पुत्र राजवंशी कुमार विद्यालय पहुंचकर बच्चों के इलाज के लिए अस्पताल पहुंचाने में सक्रिय हो गए। इस बीच जनसुराज नेता किशोर कुणाल ने सीएचसी पहुंचकर बच्चों का हाल जाना।
मध्याह्न भोजन में छिपकली गिरने की बात सामने आई है। इसमें कहीं न कहीं लापरवाही जरूर है। मामले की जांच कर दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी। - मंजू कुमारी, प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी
दूषित पानी पीने से बीमार पड़ीं छात्राएं तब टंकी की सफाई व आरओ की हुई मरम्मत
मुजफ्फरपुर सदर अस्पताल में एएनएम की दर्जनभर छात्राएं दूषित पानी पीने से बीमार पड़ गईं। सभी को लगातार उल्टियां होने लगीं। इससे दहशत का माहौल बन गया। इसकी सूचना तुरंत अस्पताल प्रबंधन को दी गई। सभी छात्राओं को भर्ती करा इलाज शुरू किया गया। कुछ देर बाद सभी की तबीयत में सुधार होने लगा।
पूरी तरह स्वस्थ होने के बाद बुधवार शाम को सभी को छात्रावास में शिफ्ट किया गया। उन्हें दवाइयां भी दी गई हैं, ताकि इसका असर पूरी तरह समाप्त हो जाए। बताते हैं कि एएनएम छात्रावास जर्जर हो चुका है। सभी छात्राओं को विश्राम सदन में शिफ्ट किया जा चुका है। कुछ छात्राएं अभी पुराने छात्रावास में रहती हैं।
इसकी छत पर लगी टंकी की पिछले करीब छह माह से सफाई नहीं कराई गई थी। बुधवार को छात्राओं ने इसी टंकी का पानी पी लिया। हालांकि, छात्रावास में आरओ भी लगा है, लेकिन वह भी खराब है। इससे पानी प्यूरीफायर नहीं कर पा रहा है। पूर्व में भी इसकी शिकायत की गई थी। इसके बाद भी टंकी साफ नहीं कराई गई और न आरओ की मरम्मत हुई।
बुधवार को फिर टंकी का पानी पीने से दर्जनभर से अधिक छात्राएं बीमार हो गईं। सूचना पर अस्पताल प्रबंधन हरकत में आया और छात्राओं का इलाज शुरू किया गया।
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