बिहार में BJP विधायक दल का नेता चुनने को पर्यवेक्षक नियुक्त, पता चल जाएगा कौन होगा डिप्टी सीएम?
Bihar Politics: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बिहार में विधायक दल के नेता के चुनाव के लिए पर्यवेक्षकों को नियुक्त किया है। उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री समेत दो वरिष्ठ नेताओं को यह जिम्मेदारी दी गई है। यह निर्णय बिहार में नई सरकार के गठन की प्रक्रिया को सुचारू रूप से चलाने के लिए लिया गया है। पर्यवेक्षक चुनाव प्रक्रिया को निष्पक्ष और पारदर्शी बनाने में मदद करेंगे।

केशव प्रसाद मौर्य, अर्जुन राम मेघवाल व साध्वी निरंजन ज्योति। जागरण आर्काइव
राज्य ब्यूरो, पटना। एनडीए की बुधवार को होनेवाली बैठक से पहले भाजपा विधायक दल की बैठक होनी है। उसमें विधायक दल के नेता का चयन होगा।
शीर्ष नेतृत्व ने इसके लिए उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री केशव मौर्य को केंद्रीय पर्यवेक्षक बनाया है। वे पटना पहुंच चुके हैं।
मंत्रियों के नाम पर विमर्श करेंगे शाह
नई सरकार के शपथ ग्रहण समारोह में सहभागिता और मंत्रियों के नामों पर विचार-विमर्श के लिए मंगलवार को ही केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) भी पटना आएंगे।
शाह शाम में आएंगे, उससे पहले विधायक दल के नेता का चयन हो चुका होगा। इसके एक दिन बाद यानी गुरुवार को नई सरकार शपथ लेने वाली है।
भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव सह मुख्यालय प्रभारी अरुण सिंह द्वारा जारी पत्र के अनुसार, केंद्रीय विधि मंत्री अर्जुन राम मेघवाल और पूर्व केंद्रीय मंत्री साध्वी निरंजन ज्योति को केंद्रीय सह-पर्यवेक्षक का दायित्व मिला है।
भाजपा को बिहार में अब तक की सबसे बड़ी सफलता मिली है। 89 सीटों पर जीत के साथ वह विधानसभा में सबसे बड़ी पार्टी है।
उत्साह का यह माहौल आगे भी बना रहे, इसके लिए पार्टी का प्रयास है कि नेता और मंत्रियों के चयन पर किसी तरह के विवाद या आक्षेप की स्थिति न बने।
विधायक-विधान पार्षद पहुंचे पटना
केंद्रीय पर्यवेक्षक की उपस्थिति ऐसी किसी भी आशंका को निर्मूल करेगी। बहरहाल बैठक के लिए सभी विधायक और विधान पार्षद पटना पहुंच चुके हैं।
विधायक दल के नेता को ही अब तक उप मुख्यमंत्री का दायित्व मिलता रहा है। ऐसे में बैठक के बाद उप मुख्यमंत्री का चेहरा ही सार्वजनिक हो जाएगा।
17वीं विधानसभा में भाजपा के समक्ष दो बार उप मुख्यमंत्री के चयन का अवसर आया। दोनों बार दो-दो उप मुख्यमंत्री बनाए गए। दो-दो उप मुख्यमंत्री की परंपरा की शुरुआत भी 17वीं विधानसभा से ही हुई।
पहली बार तारकिशोर प्रसाद और रेणु देवी, जबकि दूसरी बार सम्राट चौधरी और विजय कुमार सिन्हा उप मुख्यमंत्री बने। ये चारों विधायक चुने जा चुके हैं।
इनमें से तीन पहले भी विधायक थे। एकमात्र सम्राट विधान परिषद के सदस्य हैं। इस बार वे तारापुर विधानसभा क्षेत्र से विजयी रहे हैं।

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