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    बीपीएससी शिक्षकों ने बदला स्कूलों का माहौल, बच्चे होंठों पर रखते हैं जवाब

    Updated: Mon, 03 Nov 2025 01:18 PM (IST)

    रोहतास जिले के विद्यालयों में बीपीएससी शिक्षकों के आने से शिक्षा के माहौल में सकारात्मक बदलाव आया है। पहले पत्रकारों को देखकर असहज होने वाले शिक्षक अब उनका स्वागत कर रहे हैं। मध्य विद्यालय अख्तियारपुर में बच्चे सवालों के तुरंत जवाब दे रहे हैं, जिससे उनकी शिक्षा में सुधार दिख रहा है। प्रधानाध्यापक ने अभिभावकों से सहयोग की अपील की है ताकि बच्चों का भविष्य उज्ज्वल हो सके।

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    बीपीएससी शिक्षकों ने बदला स्कूलों का माहौल

    सुरेन्द्र तिवारी करगहर (रोहतास)। लगभग एक साल पहले विद्यालय में प्रवेश करते पत्रकारों को देख शिक्षकों के रोंगटे खड़े हो जाते थे। क्लास रूम में जाने से पत्रकारों को मना करते थे। लेकिन बीपीएससी शिक्षकों के आने के बाद विद्यालय में पढ़ाने के तौर तरीके और व्यवहार कुछ अलग हो गए हैं। 

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    मध्य विद्यालय अख्तियारपुर में सोमवार को जागरण टीम पहुंची तो वहां के शिक्षकों ने बड़े ही आदर के साथ बैठाया। कुछ देर बाद प्रधानाध्यापक नरेंद्र कुमार सिंह ने टीम से आग्रह किया कि क्लास रूम में चलकर बच्चों के पठन-पाठन का जायजा लिया जाए। टीम ने देखा कि वर्ग आठ के छात्रों ने पुस्तक से किसी भी सवाल का जवाब सारे बच्चे एक साथ देते थे। 

    सवाल का जवाब बच्चों ने बखूबी दिया

    अपने स्तर से भी जागरण टीम ने सवाल किया जिसका बखूबी बच्चों ने जवाब दिया। इस तरह के विद्यालय गुनें चुनें हैं जहां इस तरह की पढ़ाई देखने को मिलती है। इसके बाद वर्ग दो में प्रधानाध्यापक टीम को लेकर गए। वहां भी बच्चों ने सवालों का जवाब दिया। जवाब ऐसा लग रहा था मानो उनके होंठों पर जवाब है। 

    प्रधानाध्यापक ने बताया कि अभिभावकों एवं सरकार का भरपूर सहयोग मिले तो शिक्षकों का मनोबल बढ़ता है। हल्के पिटाई के बाद भी बच्चों के अभिभावक विद्यालय में पहुंच जाते हैं जिससे शिक्षकों का मनोबल गिर जाता है और छात्रों का मनोबल बढ़ जाता है। फल स्वरुप बच्चों की पढ़ाई चौपट हो जाती है। 

    बच्चों को पढ़ाने में कोई कसर नहीं

    उन्होंने सभी अभिभावकों से अनुरोध किया कि शिक्षक, बच्चों को पढ़ाने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे बशर्तें सबका सहयोग जरूरी है। उन्होंने कहा कि बच्चों का जीवन बनाने के लिए शासन और अनुशासन अति आवश्यक है। विद्यालय में सारी सुविधाएं मौजूद हैं। 

    इस तरह के विद्यालयों में मध्य विद्यालय बिलारी, मध्य विद्यालय बभनी, उच्चतर माध्यमिक विद्यालय रामपुर नरेश, उच्चतर माध्यमिक विद्यालय करगहर, उच्चतर माध्यमिक विद्यालय महुली, प्राथमिक विद्यालय अकोढ़ी सहित कई विद्यालयों में देखने को मिलता है।