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    AI के जरिए इनकम टैक्स विभाग ने पुराने ITR से कमा लिए ₹11000 करोड़; Tax चोरी की तो पकड़ लेगी तीसरी आंख!

    Updated: Fri, 15 Aug 2025 11:28 AM (IST)

    ITR 2025 इनकम टैक्स विभाग ने पिछले चार वर्षों में AI  उपकरणों के उपयोग के परिणामस्वरूप एक करोड़ से अधिक करदाताओं ने स्वेच्छा से अपने रिटर्न अपडेट किए हैं जिससे ₹11000 करोड़ की अतिरिक्त कर वसूली हुई है। अगर आप टैक्स बचाने के लिए आईटीआर में गलत जानकारी फिल कर रहे हैं तो आप पर भी AI की गाज गिर सकती है।

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    AI के जरिए इनकम टैक्स विभाग ने पुराने ITR से कमा लिए ₹11000 करोड़

    नई दिल्ली। ITR 2025: अगर आप आईटीआर भरने जा रहे हैं तो यह खबर आपके काम की हो सकती है। आपकी एक गलती लाखों रुपये का नुकसान करा सकती है। क्योंकि बहुत से लोग टैक्स बचाने के लिए गलत जानकारी भर देते हैं लेकिन उन्हें पता नहीं कि तीसरी आंख यानी AI सब कुछ देख रहा है। सरकार ने खुद बताया कि AI के जरिए उसने करीब 11000 करोड़ कमाए।

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    ITR में सही जानकारी न देने वालों के खिलाफ एक्शन

    आयकर विभाग (Income Tax) उन करदाताओं का पता लगाने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस-आधारित प्रक्रियाओं का उपयोग कर रहा है जिन्होंने अपनी आय की सही जानकारी नहीं दी है और उसके अनुसार कर दाखिल नहीं किया है।

    पिछले 4 सालों में आयकर विभाग ऐसे करदाताओं का पता लगाकर और उन्हें अपडेटेड रिटर्न (ITR) दाखिल करवाकर ₹11,000 करोड़ से अधिक का टैक्स रेवेन्यू प्राप्त करने में सफल रहा है।

    केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने सोमवार, 11 अगस्त, 2025 को लोकसभा में एक लिखित उत्तर में बताया कि डेटा की सटीकता, एकरूपता और अखंडता को बढ़ाकर, AI-सक्षम प्रक्रियाओं का उपयोग एनालिटिक्स ढांचे को मजबूत करने और आउटरीच के लिए उपयुक्त मामलों के चयन में सहायता के लिए किया गया है।"

    उन्होंने आगे बताया कि आईटीआर-यू के माध्यम से अवैतनिक करों की रिपोर्टिंग से वित्त वर्ष 2020-21 से 2024-25 तक ₹11,000 करोड़ से अधिक का अतिरिक्त कर राजस्व प्राप्त हुआ है।

    आप पर है तीसरी आंख की नजर

    AI अब आईटीआर दाखिल करने के में कम रिपोर्ट की गई आय का पता लगा रहा है। टैक्स डिपार्टमेंट ने एक 'नज' अभियान भी चलाया है, जिसके तहत करदाताओं को विलंबित आईटीआर दाखिल करके अपनी अघोषित विदेशी संपत्तियों की जानकारी देने के लिए प्रेरित किया गया है। इस अभियान के परिणामस्वरूप, 5400 से अधिक करदाताओं ने विलंबित रिटर्न दाखिल किए, जिससे ₹29,000 करोड़ से अधिक की विदेशी संपत्ति का खुलासा हुआ।

    अगर आपको लग रहा है कि आप टैक्स चोरी कर लेंगे तो भूल जाइए। आपकी हर एक डिटेल इनकम टैक्स के पास है। एक छोटी सी गलती आपको लाखों का चूना लगा सकती है।

    वित्त मंत्रालय के अनुसार, कुल 24,678 करदाताओं ने निर्धारण वर्ष 2024-25 के लिए संशोधित आईटीआर में अपनी विदेशी संपत्ति और आय की सूचना दी।वहीं, 5,483 करदाताओं ने ₹29,208 करोड़ मूल्य की विदेशी संपत्ति और ₹1,089.88 करोड़ की विदेशी आय की सूचना देते हुए विलंबित रिटर्न दाखिल किए।

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