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    UPI ने फिर गाड़े झंडे, जुलाई में ट्रांजैक्शन के मामले में तोड़ डाले सभी रिकॉर्ड; हर दिन 62.8 करोड़ लेन-देन

    Updated: Fri, 01 Aug 2025 07:30 PM (IST)

    NPCI द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार जुलाई में UPI ने 25.08 लाख करोड़ रुपये मूल्य के 19.47 अरब ट्रांजैक्शन के साथ अब तक का सर्वोच्च स्तर हासिल किया। जून की अपेक्षा जुलाई में ट्रांजैक्शन 5.8% बढ़ा है। मूल्य के हिसाब से इसमें 4.3% की वृद्धि हुई है। जून में यूपीआई ने कुल 24.04 लाख करोड़ रुपये के 18.40 अरब लेन-देन दर्ज किए थे।

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    UPI ने फिर गाड़े झंडे, जुलाई में ट्रांजैक्शन के मामले में तोड़ डाले सभी रिकॉर्ड

    नई दिल्ली। जुलाई 2025 में भारत में डिजिटल भुगतान में वृद्धि जारी रही। इस तेजी का मुख्य कारण UPI और IMPS लेनदेन में वृद्धि रही। जुलाई में यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (UPI Transactions in July 2025) से होने वाले लेन-देन 19.47 अरब तक पहुंच गए। यह संख्या पिछले महीने की तुलना में 6 प्रतिशत अधिक है। जुलाई में हर दिन यूपीआई के जरिए औसत 62.8 करोड़ लेन-देन हुए। ये लेन-देन 25.08 ट्रिलियन रुपये के थे। मूल्य के हिसाब से इसमें 4 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है।

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    भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (National Payments Corporation of India) ने शुक्रवार को जानकारी दी कि जून में 24.04 ट्रिलियन रुपये मूल्य के 18.4 बिलियन ट्रांजैक्शन हुए। मई में 25.14 ट्रिलियन रुपये के रिकॉर्ड उच्च स्तर की तुलना में यूपीआई लेन-देन का मूल्य कम हुआ, जब 18.68 बिलियन लेनदेन हुए थे।

    जून की अपेक्षा जुलाई में बढ़ा UPI के जरिए दैनिक लेन-देन

    दैनिक ट्रांजैक्शन जून में 613 मिलियन से बढ़कर जुलाई में 628 मिलियन हो गए; उनका मूल्य 80,131 करोड़ रुपये से बढ़कर 80,919 करोड़ रुपये हो गया। जुलाई में यूपीआई संख्या 2024 के इसी महीने की तुलना में मात्रा में 35 प्रतिशत और मूल्य में 22 प्रतिशत बढ़ी।

    IMPS ट्रांजैक्शन में भी हुए बढ़ोतरी

    यूपीआई के अलावा जुलाई में 48.2 करोड़ तत्काल भुगतान सेवा (IMPS) लेनदेन हुए, जो जून के 44.8 करोड़ लेन-देन से 8 प्रतिशत अधिक है। इन ट्रांजैक्शन का मूल्य 6.31 लाख करोड़ रुपये था, जो जून के 6.06 लाख करोड़ रुपये से 4 प्रतिशत अधिक है। मई में 46.4 करोड़ आईएमपीएस ट्रांजैक्शन हुए थे, जिनका मूल्य 6.41 लाख करोड़ रुपये था।

    फास्टैग ट्रांजेक्शन में आई कमी

    जुलाई में फास्टैग ट्रांजैक्शन जून के 386 मिलियन की तुलना में 4 प्रतिशत घटकर 371 मिलियन रह गया। मूल्य के हिसाब से यह जून के 6,783 करोड़ रुपये की तुलना में 2 प्रतिशत घटकर 6,669 करोड़ रुपये रह गया। मई में, यह संख्या 404 मिलियन और मूल्य 7,087 करोड़ रुपये थी।