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    UPI New Rules : यूपीआई में बैलेंस चेक से ऑटोपे तक होगा चेंज, जानें 1 अगस्त से हो रहे कौन-कौन से 5 बड़े बदलाव?

    Updated: Wed, 30 Jul 2025 06:00 AM (IST)

    UPI New Rules 2025 अब आपका यूपीआई फ्री नहीं रहेगा। इसके इस्तेमाल पर आपको पैसे चुकाने पड़ सकते हैं। 1 अगस्त से UPI में बड़े बदलाव होने जा रहे हैं जिनका सीधा असर आपकी जेब पड़ेगा। इनमें बार-बार बैलेंस चेक करने पर चार्ज और लिमिट से ज़्यादा ट्रांजैक्शन पर पेनल्टी जैसे नियम शामिल हैं। अगर आप UPI यूजर हैं तो इन बदलावों के बारे में जानना बेहद जरूरी है।

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    यूपीआई में बड़े बदलाव होने जा रहे हैं, जिनका सीधा असर आपकी जेब पड़ेगा।

    नई दिल्ली| UPI New Rules 1 August : 1 अगस्त (UPI New Rules 1 August) से यूपीआई (UPI) में बड़े बदलाव होने जा रहे हैं, जिनका सीधा असर आपकी जेब पड़ेगा। इनमें बार-बार बैलेंस चेक करने पर चार्ज और लिमिट (UPI balance check limit) से ज़्यादा ट्रांजैक्शन पर पेनल्टी जैसे कई नियम शामिल हैं। अगर आप UPI यूजर हैं तो इन बदलावों के बारे में आपका जानना बेहद जरूरी है। तो चलिए एक-एक कर जानते हैं कि आखिर कौन से हैं वो बदलाव?

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    UPI में क्या-क्या बदलेगा?

    यूपीआई में एक अगस्त से मुख्य पांच बड़े बदलाव होने जा रहे हैं। जिनमें शामिल हैं:

    • बैलेंस चेक लिमिट
    • ऑटेपे तय समय पर ही
    • पेमेंट रिवर्सल में लिमिट
    • पेमेंट स्टेटस चेक करने में लिमिट
    • ट्रांजैक्शन हिस्ट्री देखने पर लिमिट

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    1. बैलेंस चेक लिमिट

    अभी तक UPI यूजर्स दिन में जितनी बार चाहें, उतनी बार बैलेंस चेक कर सकते हैं। लेकिन अब इसमें लिमिट लगा दी गई है। 1 अगस्त से एक यूजर दिनभर में 50 बार ही बैलेंस चेक कर पाएगा। NPCI (National Payments Corporation of India) के मुताबिक, ये लिमिट इसलिए रखी गई है, ताकि अन्य जरूरी पेमेंट के दौरान सर्वर पर किसी प्रकार का दबाव ना पड़े और यूपीआई पेमेंट में कोई बाधा ना आए। 

    2. ऑटेपे तय समय पर

    आमतौर पर ऑटोपे से पैसे 24 घंटे में कभी डिडक्ट हो जाते हैं। लेकिन अब ये सुविधा सिर्फ सुबह 10 बजे से पहले और दोपहर 1 बजे से शाम 5 बजे तक ही काम करेगी। तय समय के बाद आप कोई भी ट्रांजैक्शन नहीं कर पाएंगे। यानी आपको इसमें परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। खासकर उन पेमेंट्स के लिए जो आपने ऑटोपे पर सेट कर रखी हैं। जैसे- यूपीआई के थ्रू एसआईपी, डिजिटल इन्वेस्टमेंट या फिर ओटीटी एप की पेमेंट।

    3. पेमेंट रिवर्सल में लिमिट

    अब चार्जबैक यानी पेमेंट वापस पाने की भी एक लिमिट तय कर दी गई है। अब हर यूजर एक महीने में सिर्फ 10 बार चार्जबैक की रिक्वेस्ट कर सकता है। और किसी एक व्यक्ति या कंपनी से आप सिर्फ 5 बार ही पैसे वापसी की मांग कर सकते हैं।

    4. पेमेंट स्टेटस चेक करने में लिमिट

    आमतौर पर यूजर दिन में कई बार पेमेंट करने के बाद पेमेंट स्टेटस चेक करते हैं। NPCI ने इस पर भी लिमिट लगा दी है। यानी अब आप एक दिन में पेमेंट स्टेटस 3 बार ही देख पाएंगे। इनमें कम से कम 90 सेकेंड का गैप होना अनिवार्य है।

    5. ट्रांजैक्शन हिस्ट्री देखने पर लिमिट

    अब हर यूजर एक दिन में किसी एक ऐप से सिर्फ 25 बार ही अपने बैंक खाते की डिटेल्स देख सकेगा। इससे बार-बार बैलेंस चेक करने या ट्रांजैक्शन हिस्ट्री देखने पर लिमिट लग गई है।