Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    2 रुपये देने के चक्कर में गए एक लाख रुपये, दिल्ली में नया साइबर फ्रॉड

    Updated: Wed, 19 Nov 2025 11:59 PM (IST)

    दिल्ली में जालसाजों ने ठगी का नया तरीका अपनाया है। तुगलक रोड इलाके में, उन्होंने दो रुपये ट्रांसफर करवाकर एक व्यक्ति के खाते से एक लाख रुपये उड़ा लिए। पीड़ित ने बताया कि उसने स्पीड पोस्ट से दवाइयाँ भेजी थीं, जो नहीं पहुँची। गूगल से कस्टमर केयर नंबर निकालकर बात की, जहाँ उसे दो रुपये देने को कहा गया। इसके बाद उसके खाते से पैसे निकल गए। पुलिस मामले की जाँच कर रही है।

    Hero Image

    दिल्ली में जालसाजों ने ठगी का नया तरीका अपनाया है।

    जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। इन दिनों जालसाज लोगों को ठगने के लिए नए-नए तरीके अपना रहे हैं। ऐसा ही एक मामला तुगलक रोड थाना क्षेत्र से सामने आया है, जहां जालसाजों ने दो रुपये ट्रांसफर करके लोगों से करीब एक लाख रुपये ठग लिए। नई दिल्ली जिले का साइबर थाना फिलहाल मामले की जांच कर रहा है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    पुलिस अधिकारी के अनुसार, पीड़ित मायाधर ने शिकायत में बताया कि वह मूल रूप से ओडिशा का रहने वाला है और पिछले 20 सालों से पृथ्वीराज रोड स्थित एक बंगले में रहकर काम करता है। उसने बताया कि 6 अक्टूबर को उसने ओडिशा में अपनी पत्नी को स्पीड पोस्ट से दवाइयां भेजी थीं।

    11 अक्टूबर को उसकी पत्नी ने उसे बताया कि दवाओं का पार्सल अभी तक नहीं पहुंचा है। परेशान होकर मायाधर ने गूगल पर स्पीड पोस्ट ट्रैकिंग सर्च की तो उसे एक कस्टमर केयर नंबर मिला। जब उसने उस नंबर पर कॉल किया, तो कॉल उठाने वाले ने खुद को स्पीड पोस्ट कस्टमर केयर एग्जीक्यूटिव बताया और ट्रैकिंग नंबर मांगा।

    कुछ देर बाद, कॉल करने वाले ने कहा कि उसका पार्सल नागपुर में फंसा हुआ है और उसे छुड़ाने के लिए दो रुपये का चार्ज देना होगा। छोटी रकम सुनकर मायाधर ने विश्वास कर लिया और जालसाज़ द्वारा भेजे गए लिंक पर क्लिक करके दो रुपये का भुगतान कर दिया।

    शिकायत के अनुसार, दो रुपये वापस आ गए, जिससे किसी को शक नहीं हुआ। हालाँकि, अगली शाम उनके बैंक खाते से अचानक 34,998 रुपये, 34,999 रुपये और 29,000 रुपये के तीन बड़े लेन-देन हो गए। मायाधर को तुरंत एहसास हुआ कि उनके साथ धोखाधड़ी हुई है और उन्होंने पुलिस को सूचना दी। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि शिकायतकर्ता के बयान के आधार पर 12 नवंबर को मामला दर्ज कर लिया गया है और आगे की जाँच जारी है।