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    मकोका के तहत दबोचा: क्राइम ब्रांच ने नासिर गैंग का तस्करी नेटवर्क तोड़ा, तीन बड़े आरोपी गिरफ्तार

    Updated: Thu, 06 Nov 2025 08:43 PM (IST)

    मुंबई क्राइम ब्रांच ने मकोका के तहत कार्रवाई करते हुए नासिर गैंग के तस्करी नेटवर्क का पर्दाफाश किया है। इस मामले में तीन मुख्य आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। यह कार्रवाई संगठित अपराध पर नियंत्रण पाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। पुलिस अब गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ कर रही है ताकि नेटवर्क के अन्य सदस्यों का पता लगाया जा सके और पूरे गैंग को खत्म किया जा सके।

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    प्रतीकात्मक तस्वीर।

    जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। क्राइम ब्रांच ने राजधानी में संगठित अपराध पर एक और बड़ी कार्रवाई करते हुए कुख्यात नासिर गैंग के नेटवर्क को पूरी तरह ध्वस्त कर दिया है। इंटर स्टेट सेल की टीम ने मकोका के तहत चल रहे केस में गिरोह के तीन और प्रमुख सदस्यों को गिरफ्तार किया है।

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    तस्करी तंत्र पर करारा प्रहार

    इनमें सरगना अब्दुल नासिर के दो भाई आदिल और शमीम उर्फ बदर के अलावा अंतरराष्ट्रीय हथियार तस्कर सलीम अहमद उर्फ पिस्टल शामिल है। इन गिरफ्तारियों से न केवल गैंग का बचा-कुचा नेटवर्क खत्म हुआ है, बल्कि नेपाल-पाकिस्तान-दिल्ली के बीच चल रहे अवैध हथियारों के तस्करी तंत्र पर करारा प्रहार किया गया है।

    क्राइम ब्रांच के उपायुक्त आदित्य गौतम के मुताबिक, मकोका के तहत दर्ज केस में अब्दुल नासिर और उसके तीन भाइयों आदिल, नादिर और शमीम उर्फ बदर के साथ-साथ उनके सहयोगी डेनिश जमाल, आसिम उर्फ हाशिम बाबा, सलमान उर्फ मटू, गुलफाम समेत 14 बदमाशों को गिरफ्तार किया जा चुका है।

    पिछले चार से पांच सालों से जेल में बंद

    इनमें से अधिकतर पिछले चार से पांच सालों से जेल में बंद हैं। इनकी गिरफ्तारी के बाद यमुना पार क्षेत्र में रंगदारी, जमीन कब्जाने, गोलीबारी और गैंगवार की घटनाओं में भारी गिरावट दर्ज हुई है।

    क्राइम ब्रांच द्वारा साल 2019 में केस दर्ज होने के बाद से ही इस गैंग के खिलाफ लगातार इंटेलिजेंस आधारित कार्रवाई की जा रही है। ऑपरेशन का उद्देश्य सिर्फ गिरफ्तारियां नहीं, बल्कि गैंग के पूरे आर्थिक और हथियार सप्लाई नेटवर्क को तोड़ना था। बीते कुछ वर्षों में गैंग का पूरा ढांचा बिखर गया है और उसके मुख्य सदस्य जेल में हैं।

    हथियारों की तस्करी हुई मुश्किल

    हाल में हुई कार्रवाई में गिरफ्तार सलीम अहमद उर्फ पिस्टल एक कुख्यात अंतरराष्ट्रीय हथियार सप्लायर बताया गया है, जो नेपाल और पाकिस्तान से अवैध हथियारों की तस्करी कर दिल्ली-एनसीआर के कई अपराधी गिरोहों तक पहुंचाता था।

    पुलिस के अनुसार, उसके जरिए सैकड़ों पिस्टल राजधानी में पहुंचाई गईं, जिनका इस्तेमाल कई गैंगवार और रंगदारी मामलों में हुआ। सलीम की गिरफ्तारी से नासिर गैंग के साथ-साथ अन्य अपराधी नेटवर्क को भी बड़ा झटका लगा।

    वहीं, आदिल और शमीम उर्फ बदर, जो लंबे समय से फरार चल रहे थे, उन्हें 2021 में कोर्ट ने भगोड़ा घोषित किया गया था। दोनों को हाल ही में क्राइम ब्रांच की टीम ने दबोचा है। ये दोनों नासिर के मुख्य सहयोगी थे और गिरोह के ऑपरेशन को बाहर से संचालित कर रहे थे।

    चार्जशीट दाखिल, जांच जारी

    पुलिस के अनुसार, इस केस में अब तक एक मुख्य और छह सप्लीमेंट्री चार्जशीट दाखिल की जा चुकी हैं। कुल 15 आरोपितों के खिलाफ अदालत में चार्जशीट दाखिल हो चुकी है और मामले की आगे की जांच जारी है।

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