दुबई से गैंग चला रहा प्रिंस, Jharkhand ATS वासेपुर के गैंगस्टर को ला सकती है धनबाद
झारखंड एटीएस ने जिस तरह से इंटरपोल की मदद से कुख्यात गैंगस्टर मयंक सिंह को अजरबैजान से रांची लाया है ठीक इसी तरह प्रिंस खान को भी धनबाद ला सकती है। पहली बार राज्य पुलिस ने किसी अपराधी को विदेशी धरती से प्रत्यर्पण कर भारत लाने में सफलता हासिल की।

जागरण संवाददाता, धनबाद। झारखंड एटीएस ने जिस तरह से इंटरपोल की मदद से कुख्यात गैंगस्टर मयंक सिंह को अजरबैजान से रांची लाया है, ठीक इसी तरह प्रिंस खान को भी धनबाद ला सकती है।
पहली बार राज्य पुलिस ने किसी अपराधी को विदेशी धरती से प्रत्यर्पण कर भारत लाने में सफलता हासिल की। इस बड़ी कार्रवाई के बाद अब पुलिस की निगाहें धनबाद के वासेपुर के कुख्यात गैंगस्टर प्रिंस खान पर टिकी हैं।
सूत्रों का कहना है कि मयंक की तर्ज पर प्रिंस को भी दुबई से प्रत्यर्पित करने की कोशिश शुरू हो सकती है। हालांकि अभी तक इस संबंध में कोई पुलिस पदाधिकारी ने पुख्ता कुछ नहीं बताया है, पर पूरी संभावना है कि झारखंड पुलिस और एसटीएफ ने प्रिंस के खिलाफ कार्रवाई तेज कर दी है।
इंटरनेट कॉल के जरिए मांगता है रंगदारी
प्रिंस खान पिछले कई वर्षों से दुबई में छिपा हुआ है। वहीं से वह फोन और इंटरनेट कॉल के जरिये धनबाद और आसपास के जिलों के कारोबारियों, ठेकेदारों और नेताओं से रंगदारी मांगता है।
मांगे पूरी न होने पर उसके गुर्गे शहर में फायरिंग और हमला कर दहशत फैलाते हैं। धनबाद पुलिस के मुताबिक प्रिंस खान पर अब तक 54 आपराधिक मामले दर्ज हैं।
इनमें रंगदारी, हत्या की कोशिश, अवैध हथियार, धमकी, फायरिंग के मामले हैं। आधा दर्जन मामलों में पुलिस पहले ही कुर्की-इश्तेहार की कार्रवाई कर चुकी है, लेकिन उस पर अंकुश नहीं लग पाया है।
मयंक की गिरफ्तारी ने पुलिस को दिया हौसला
मयंक सिंह को अजरबैजान से लाने में सफलता मिलने के बाद अब पुलिस और एटीएस को विश्वास है कि प्रिंस खान को भी दुबई से लाया जा सकता है।
इसके लिए रेड कार्नर नोटिस जारी करने की तैयारी की जा रही है। एक बार इंटरपोल का नोटिस जारी हो जाने पर दुबई की पुलिस प्रिंस को पकड़ कर भारत सुरक्षा एजेंसी को सौंप सकती है।
इसके बाद प्रत्यर्पण के तहत प्रिंस को भारत लाने की राह आसान हो जाएगी। झारखंड एसटीएफ पहले ही गृह मंत्रालय को पत्र भेजकर इस दिशा में पहल कर चुकी है।
अपराधी देश में हो या विदेश में, पकड़कर लाना है
धनबाद के व्यवसाय व ठेकेदार लंबे समय से प्रिंस खान की धमकियों से परेशान रहे हैं। शहर के बड़े व्यवसायिक संगठनों का कहना है कि "जैसे मयंक सिंह को पकड़कर लाया गया, वैसे ही प्रिंस खान को भी लाना जरूरी है।
उनका मानना है कि जब तक प्रिंस दुबई में सुरक्षित बैठा है। तब तक गिरोह की गतिविधियां पूरी तरह खत्म नहीं होंगी। इधर धनबाद के पुलिस अधिकारियों का कहना है कि झारखंड सरकार की नीति साफ है, चाहे अपराधी देश में हो या विदेश में, उसे पकड़कर सजा दिलाना है।
प्रिंस पर धनबाद में 54 आपराधिक मामले हैं दर्ज
आधा दर्जन मामलों में कुर्की व इश्तेहार की कार्रवाई हो चुकी है। कुछ मामलों में उसे फरार घोषित भी किया गया है। उसके खिलाफ कई मामलों में वारंट भी जारी है।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।