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    एमपी-राजस्थान में बच्चों की मौत के बाद झारखंड ड्रग विभाग अलर्ट, छापेमारी कर प्रतिबंधित कफ सिरफ को किया जब्त

    Updated: Fri, 10 Oct 2025 11:39 PM (IST)

    मध्य प्रदेश और राजस्थान में बच्चों की मौत के बाद झारखंड का औषधि विभाग अलर्ट पर है। घाटशिला, चाईबासा और बिष्टुपुर में छापेमारी की गई, जहाँ प्रतिबंधित कफ सिरप रेस्पिफ्रेस-टीआर के संदिग्ध नमूने जब्त किए गए। सिरप में डायएथिलीन ग्लाइकोल नामक जहरीला रसायन पाया गया है। विभाग ने लोगों से डॉक्टर की सलाह के बिना कफ सिरप न खरीदने की अपील की है।

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    घाटशिला, चाईबासा और बिष्टुपुर में ड्रग विभाग का छापा। सांकेतिक फोटो

    जागरण संवाददाता, जमशेदपुर। मध्यप्रदेश और राजस्थान में दो दर्जन से अधिक बच्चों की मौत के बाद अब झारखंड में भी ड्रग विभाग अलर्ट मोड में है। शुक्रवार को विभाग की टीम ने एक साथ घाटशिला, चाईबासा और बिष्टुपुर में छापेमारी की।

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    इस दौरान कई दवा दुकानों की जांच की गई और प्रतिबंधित कफ-सीरप रेस्पिफ्रेस-टीआर से संबंधित संदिग्ध सैंपल जब्त किए गए। अभियान का नेतृत्व ड्रग इंस्पेक्टर सोनी बारा और अबरार आलम ने किया।

    सुबह-सुबह ड्रग इंस्पेक्टर सोनी बारा चाईबासा पहुंचे। वहां रेस्पिफ्रेस-टीआर सीरप नहीं मिला, लेकिन टीम ने ओआरएस, पैरासिटामोल और मेटाक्लोमाइट का सैंपल जांच के लिए जब्त किया।

    इसके बाद टीम घाटशिला पहुंची, जहां एक थोक विक्रेता के यहां छापेमारी के दौरान बड़ा खुलासा हुआ। सोनी बारा ने बताया कि विक्रेता ने रांची के सीएंडएफ (केयरिंग फारवर्डिंग एजेंट) से 91 बोतल रेस्पिफ्रेस-टीआर सीरप मंगाया था।

    वह दो खुदरा दुकानों को छह-छह बोतल बेच चुका था। इनमें से तीन बोतलें मरीजों तक पहुंची थीं। ड्रग विभाग ने उन सभी मरीजों को बुलाया और पूछताछ की।

    मरीजों ने कहा-किसी को परेशानी नहीं

    ड्रग इंस्पेक्टर सोनी बारा ने बताया कि सीरप पीने वाले मरीजों ने कोई शारीरिक परेशानी नहीं बताई, लेकिन सतर्कता के लिए सबका वीडियो बयान रिकार्ड किया गया।

    हालांकि, थोक विक्रेता ने सभी बची हुई बोतलें एजेंट को लौटा दी थीं, इसलिए मौके से सैंपल नहीं लिया जा सका।इसके बावजूद विभाग ने इसे गंभीरता से लेते हुए गहन जांच शुरू कर दी है। ड्रग इंस्पेक्टर ने कहा कि कई बिंदुओं पर जांच चल रही है।

    बिष्टुपुर में अबरार आलम की अगुवाई में छापेमारी

    इधर, जमशेदपुर में ड्रग इंस्पेक्टर अबरार आलम ने बिष्टुपुर की एक दवा दुकान में छापा मारा। यहां से कई तरह के कफ-सीरप के नमूने जब्त किए गए।

    इसमे रेस्पिफ्रेश-डी, रेस्पिफ्रेश-एलएस, पेडीवे-एलएस जूनियर, कोडीफ्रेश-एलसी, इबुजोय-पी और सेट्रिट्रीट एलएम सिरप शामिल है।

    अबरार आलम ने बताया कि सभी सैंपल को कोलकाता स्थित ड्रग लैब भेजा जाएगा। रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि गुरुवार को भी जुगसलाई में रेस्पिफ्रेस-टीआर की आठ बोतलें जब्त की गई थीं।

    सीरप में मौजूद जहरीला रसायन बना चिंता का कारण

    ड्रग इंस्पेक्टर सोनी बारा ने बताया कि इस सीरप में डायएथिलीन ग्लाइकोल नामक जहरीला रसायन पाया गया है, जो किडनी फेलियर और मौत का कारण बन सकता है।

    उन्होंने कहा कि कोल्हान में भी अब यह अभियान लगातार जारी रहेगा। यह सिर्फ दुकानदारों के लिए ही नहीं, बल्कि मरीजों के लिए भी खतरे की घंटी है। जिन दुकानों में यह सीरप है, वे तुरंत इसे लौटाएं।

    ड्रग विभाग की अपील : खुद से दवा न खरीदें

    ड्रग विभाग ने कोल्हानवासियों से अपील की है कि कोई भी व्यक्ति या बच्चा खुद से कोई भी कफ-सीरप खरीदकर न पिए। यदि किसी की तबीयत खराब हो, तो पहले डाक्टर की सलाह लें और उसी के बताए अनुसार दवा लें।

    जांच रिपोर्ट आने के बाद तय होगी कार्रवाई

    ड्रग विभाग ने कहा है कि कोलकाता लैब से रिपोर्ट आने के बाद संलिप्त दवा दुकानों और एजेंटों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। अभी विभाग पूरे कोल्हान क्षेत्र में छापेमारी अभियान जारी रखे हुए है।