भारतीय सेना पाकिस्तान और चीन सीमा सुरक्षा चुनौतियों पर किया गहन मंथन, टॉप कमांडर रहे मौजूद
भारतीय सेना के शीर्ष कमांडरों ने दो दिवसीय सम्मेलन में पाकिस्तान और चीन सीमाओं पर बढ़ती सुरक्षा चुनौतियों का मूल्यांकन किया। उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर और सिंधु जल समझौते के प्रभाव पर चर्चा की। सेना की युद्धक क्षमता बढ़ाने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के उपयोग और स्वदेशीकरण पर भी विचार किया गया। सम्मेलन में रसद प्रशासन और मानव संसाधन प्रबंधन जैसे क्षेत्रों में आधुनिकीकरण पर ध्यान केंद्रित किया गया।

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भारतीय सेना के शीर्ष कमांडरों ने मंगलवार को संपन्न दो दिन के सम्मेलन में पाकिस्तान और चीन के साथ लगती सीमाओं पर बढ़ रही राष्ट्रीय सुरक्षा चुनौतियों की गहन समीक्षा की।
सूत्रों के मुताबिक कमांडरों ने ऑपरेशन सिंदूर के विभिन्न पहलुओं और पाकिस्तान के साथ सिंधु जल संधि को निलंबित करने के फैसले के सुरक्षा मामलों पर असर को लेकर चर्चा की। सूत्रों के मुताबिक सम्मेलन में सेना की युद्धक क्षमताओं को बढ़ाने के उपायों पर व्यापक चर्चा हुई।
किन-किन चीजों पर हुई चर्चा
बताया जाता है कि सम्मेलन में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और बिग डाटा के इस्तेमाल के तरीकों पर भी चर्चा हुई। रसद, प्रशासन, मानव संसाधन प्रबंधन और स्वदेशीकरण के जरिये आधुनिकीकरण से संबंधित मुद्दों पर भी ध्यान केंद्रित किया।
उच्च स्तरीय सम्मेलन साल में दो बार, अप्रैल और अक्टूबर में आयोजित किया जाता है। सेना ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि ये सम्मेलन सेना के शीर्ष नेतृत्व के लिए वैचारिक मुद्दों पर विचार विमर्श करने, समग्र सुरक्षा स्थिति की समीक्षा और आकलन करने और भविष्य के लिए तैयार सेना के लिए अहम नीतिगत फैसले लेने के लिए जरूरी प्राथमिकताएं निर्धारित करने का खास मंच है।
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