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    ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तान पर एक और प्रहार, सरकार ने संसद में दी पूरी जानकारी

    Updated: Tue, 12 Aug 2025 05:36 PM (IST)

    भारत ने पाकिस्तान से आ रहे माल को रोकने के लिए ऑपरेशन डीप मैनिफेस्ट शुरू किया है। राजस्व खुफिया निदेशालय (DRI) ने इस ऑपरेशन के तहत 12.04 करोड़ रुपये मूल्य का पाकिस्तानी सामान जब्त किया है जो UAE के रास्ते भारत लाया जा रहा था। वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने संसद में बताया कि जुलाई 2025 तक इस ऑपरेशन में 5 मामले दर्ज हुए हैं।

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    ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तान पर एक और प्रहार (फाइल फोटो)

    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। मई के महीने में भारत ने पाकिस्तान में स्थित आतंकियों के खिलाफ 'ऑपरेशन सिंदूर' चलाया था, जिसके तहत आतंकी ठिकानों पर सटीक हमले कर उन्हें तबाह किया गया था। भारत पाकिस्तान के खिलाफ एक और ऑपरेशन चला रहा है, जिसका नाम है 'ऑपरेशन डीप मैनिफेस्ट'।

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    पाकिस्तान से आ रहे माल को रोकने के लिए सरकार ने कड़ा अभियान शुरू किया है। इसी के तहत राजस्व खुफिया निदेशालय (DRI) ने 'ऑपरेशन डीप मैनिफेस्ट' के तहत 12.04 करोड़ रुपये मूल्य का पाकिस्तान-निर्मित सामान जब्त किया है। ये सामान सीधे पाकिस्तान से नहीं, बल्कि तीसरे देशों के रास्ते भारत में लाया जा रहा था।

    UAE के रास्ते भारत लाया जा रहा था माल

    वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने संसद में बताया कि जुलाई 2025 तक इस ऑपरेशन में कुल 5 मामले दर्ज हुए हैं। इन मामलों में पाकिस्तान में बने माल की कीमत 12 करोड़ 4 लाख रुपये है। सभी मामलों में सामान संयुक्त अरब अमीरात (UAE) के रास्ते भारत में लाया जा रहा था।

    सरकार ने यह ऑपरेशन तब शुरू किया था जब पहलगाम आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान के सभी आयात पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया गया। इस ऑपरेशन का मकसद पाकिस्तान से आने वाले माल की तीसरे देशों के जरिए हो रही तस्करी पर रोक लगाना है।

    26 जून को जब्त हुआ था माल

    केंद्रीय मंत्री ने बताया कि कस्टम अधिकारियों ने 13 मामलों में 12 लाख के अवैध आयात भी पकड़े हैं। इनमें DGFT की 2 मई की अधिसूचना समेत कई कानूनी नियमों का उल्लंघन किया गया था।

    पहले 26 जून को सरकार ने 39 कंटेनरों में 1115 मीट्रिक टन माल जब्त किया था, जिसकी कीमत करीब 9 करोड़ रुपये थी। इस मामले में एक आयातक कंपनी के पार्टनर को गिरफ्तार भी किया गया था।

    कैसे काम कर रहा ये नेटवर्क?

    जांच में पता चला है कि सामान पहले पाकिस्तान के कराची बंदरगाह से दुबई भेजा गया, जहां उसे अलग कंटेनरों में डालकर भारत भेजा गया। ये माल जेबेल अली पोर्ट (दुबई) से भारतीय बंदरगाहों पर पहुंचाया गया था।

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