Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    जयशंकर की चिनफिंग के साथ सीक्रेट मीटिंग! क्या पीएम मोदी भी जाएंगे चीन? इन मु्द्दों पर बातचीत होने की संभावना

    Updated: Tue, 15 Jul 2025 10:04 PM (IST)

    खबर है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जल्द ही चीन की यात्रा पर जा सकते हैं। शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के शीर्ष नेताओं की बैठक में पीएम मोदी के भाग लेने की संभावना है जिसके संकेत विदेश मंत्री एस जयशंकर की चीन यात्रा से मिले हैं। जयशंकर ने चीन के उपराष्ट्रपति और विदेश मंत्री से मुलाकात की है।

    Hero Image
    जयशंकर के बाद अब पीएम मोदी के चीन जाने की उम्मीद। (फाइल फोटो)

    जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। पीएम नरेंद्र मोदी की आगामी चीन यात्रा की संभावना बढ़ गई है। चीन के शहर तियानजिन में शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के शीर्ष नेताओं की बैठक होने वाली है। इसमें पीएम मोदी के हिस्सा लेने की संभावना है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    इसके संकेत इस बात से मिले हैं कि पिछले दो महीनों के दौरान एससीओ की मंत्रिस्तरीय सभी बैठकों में भारत के मंत्रियों ने हिस्सा लिया है। मंगलवार को चीन में एससीओ के विदेश मंत्रियों की बैठक थी जिसमें विदेश मंत्री एस जयशंकर ने हिस्सा लिया।

    जयशंकर ने की चीन के उपराष्ट्रपति से मुलाकात

    जयशंकर सोमवार को चीन के उपराष्ट्रपति हान झेंग, विदेश मंत्री वांग यी और चाइना कम्यूनिस्ट पार्टी (सीपीसी) के केंद्रीय समिति के अंतरराष्ट्रीय विभाग के मंत्री लिऊ जियानचाओ से अलग-अलग मुलाकात की है। इन तीनों मुलाकातों को भारत की तरफ से चीन की राजनीति में अगली पीढ़ी के नेताओं के साथ संपर्क साधने के दौर पर देखा जा रहा है।

    जयशंकर की राष्ट्रपति चिनफिंग से हुई मुलाकात

    विदेश मंत्री एस जयशंकर की चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग से भी औपचारिक मुलाकात हुई है। इस मुलाकात में विदेश मंत्री ने चीन के राष्ट्रपति को आपसी संबंधों के सभी पहलुओं के बारे में जानकारी दी।

    क्या भारत और चीन के बीच रिश्तों में आ रहा सुधार?

    जानकारों का कहना है कि इस बात के संकेत है कि वर्ष 2020 में गलवन घाटी में हुए हिंसक टकराव के बाद जिस तरह से भारत व चीन के शीर्ष नेताओं ने मिलकर द्विपक्षीय रिश्तों को पटरी पर लाने में सफलता पाई है, उसे वह आगे ले जाने को गंभीर है। यह गंभीरता चीन व भारत दोनों की तरफ से दिखाई जा रही है। इसमें अमेरिका की ट्रंप सरकार की वैश्विक कारोबार में भारी उथल-पुथल लाने वाली घोषणाओं का भी हाथ है जिसका शिकार भारत व चीन एक समान हो रहे हैं।

    पिछले महीने रक्षा मंत्री ने भी की थी चीन की यात्रा

    पिछले दो महीनों में एनएसए अजीत डोभाल, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और विदेश मंत्री एस जयशंकर ने चीन की यात्रा करके द्विपक्षीय रिश्तों को सामान्य बनाने की प्रक्रिया को तेज की है, पीएम मोदी की चीन यात्रा इसे ठोस आकार दे सकती है। सोमवार को जयशंकर और वांग यी की मुलाकात के बाद दोनों देशों की तरफ से जो अलग-अलग बयान जारी करके बेहतर द्विपक्षीय संबंधों के महत्व को रेखांकित किया है।

    विदेश मंत्री जयशंकर ने उपराष्ट्रपति झेंग और विदेश मंत्री यी के समक्ष यह कहा है कि पिछले नौ महीनों (कजान में पीएम मोदी और राष्ट्रपति चिनिफिंग की मुलाकात के बाद) में भारत व चीन के संबंधों में काफी सुधार हुआ है। यह भी कहा है कि भारत व चीन के बीच सीमा पर अमन व शांति सिर्फ इन दो देशों के लिए ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया के लिए फायदे की बात है।

    जबकि चीन ने कहा है कि दोनों देशों को दीर्घावधि के लिए महत्वाकांक्षी लक्ष्यों पर काम करना चाहिए। चीन ने मोदी और चिनफिंग के बीच हुई मुलाकात में तय बातों के आधार पर भारत के साथ काम करने की इच्छा भी जताई है।

    अगले साल चीन राष्ट्रपति चिनफिंग भी आ सकते हैं भारत

    यह भी बताते चलें कि अभी ब्रिक्स संगठन की अध्यक्षता भारत को सौंपी गई है। ऐसे में ब्रिक्स शिखर सम्मेलन, 2026 भारत में होगा। अगर पीएम मोदी अभी चीन जाते हैं तो राष्ट्रपति चिनफिंग का ब्रिक्स सम्मेलन में आने की संभावना बढ़ जाएगी। चिनफिंग ब्राजील में हुए ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने के लिए नहीं गये थे।

    यह भी पढ़ें: 'जानबूझकर धार्मिक विभाजन को बढ़ावा दिया', पहलगाम हमले पर बोले एस जयशंकर- 'आतंकवाद को जड़ से खत्म करना जरूरी'

    यह भी पढ़ें: 'भारत के साथ मिलकर करेंगे काम', जयशंकर के बीजिंग पहुंचते ही बैकफुट आया चीन; SCO की बैठक में ऐसा क्या हुआ?