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    'भगवान क्या 2 दिन पैदा हो सकते हैं?', केरल में जन्माष्टमी न मनाए जाने पर शशि थरूर ने उठाए सवाल

    Updated: Sun, 17 Aug 2025 02:32 PM (IST)

    Shashi Tharoor on Janmashtami कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने केरल में जन्माष्टमी की तारीख को लेकर सवाल उठाए हैं। उन्होंने पूछा कि जब पूरे देश में जन्माष्टमी 16 अगस्त को मनाई गई तो केरल में 6 हफ्ते बाद क्यों मनाई जाएगी। थरूर ने यह भी कहा कि जब केरल के लोग क्रिसमस एक साथ मनाते हैं तो जन्माष्टमी पर भेदभाव क्यों?

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    कांग्रेस पार्टी के सांसद शशि थरूर। फाइल फोटो

    डिजिटल डेस्क, तिरुवनंतपुरम। बीते दिन कृष्ण जन्माष्टमी का पर्व पूरे देश में बड़े धूमधाम से मनाया गया। हालांकि अब इसे लेकर सियासी गलियारों में सवाल उठने लगे हैं। कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने केरल में जन्माष्टमी न मनाने पर प्रश्न पूछा है। उनका कहना है कि जब पूरे देश में जन्माष्टमी 16 अगस्त को मनाई गई, तो केरल में 6 हफ्ते बाद क्यों मनाई जाएगी?

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    दरअसल मलयालम कैलेंडर के अनुसार, इस साल जन्माष्टमी 14 सितंबर 2025 (रविवार) को मनाई जाएगी। मगर, शशि थरूर ने इसपर आपत्ति जताई है। शशि थरूर का कहना है कि केरल के लोग क्रिसमस का त्योहार अलग-अलग नहीं मनाते हैं, तो जन्माष्टमी पर भेदभाव क्यों होता है?

    शशि थरूर ने क्या कहा?

    शशि थरूर ने आज सुबह सोशल मीडिया पर वीडियो शेयर करते हुए यह सवाल पूछे हैं। कृष्ण जन्माष्टमी का वीडियो साझा करते हुए शशि थरूर ने कैप्शन में लिखा-

    कल (शनिवार) पूरे देश में श्री कृष्ण जन्माष्टमी मनाई गई - सिर्फ केरल को छोड़ कर! मलयालम कैलेंडर में इस साल जन्माष्टमी 14 सितंबर 2025 (रविवार) को है।

    क्रिसमस तो अलग नहीं मनाते: शशि थरूर

    शशि थरूर ने आगे लिखा, "क्या कोई मुझे बता सकता है कि ऐसा क्यों है? यह तो पक्का है कि भगवान दो अलग-अलग तारीखों पर पैदा नहीं हो सकते हैं, एक बार अभी और एक बार छह हफ्ते बाद! क्या ऐसा नहीं हो सकता कि एक धर्म के सभी अनुयायी सारे त्योहार एक साथ मना सकें? आखिर केरल के लोग क्रिसमस तो अलग-अलग नहीं मनाते हैं।"

    कृष्ण से सीख लेने की दी सलाह

    इससे पहले भी शशि थरूर ने एक वीडियो शेयर करते हुए भगवान श्री कृष्ण की सलाह पर बात की थी। आमतौर पर हमेशा अंग्रेजी बोलने वाले शशि थरूर ने हिंदी में बात करते हुए कहा, "भारतीय राजनीति और नेताओं को महाभारत, भगवद् गीता और भागवत पुराण से क्या सीख मिलती है? मुझे लगता है धर्म सबसे ऊपर है। श्री कृष्ण ने जीवनभर धर्म को बनाए रखने के लिए संघर्ष किया। उनका अंतिम लक्ष्य धर्म की स्थापना करना और दुष्टों को दंडित करना है।"

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