'वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी से मिलने गया था', बैंक धोखाधड़ी पर विजय माल्या का बड़ा खुलासा
Vijay Mallya Podcast भगोड़े कारोबारी विजय माल्या ने बैंक धोखाधड़ी पर चुप्पी तोड़ी। उन्होंने 2008 के वैश्विक वित्तीय संकट को किंगफिशर एयरलाइंस के पतन का कारण बताया। माल्या ने कहा कि उन्होंने तत्कालीन वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी से एयरलाइन को बचाने के लिए संपर्क किया था लेकिन उसकी अपील खारिज कर दी गई।

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भगोड़े कारोबारी विजय माल्या ने लंबे वक्त के बाद बैंक धोखाधड़ी और मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों पर अपनी चुप्पी तोड़ी है। यूट्यूबर राज शमनी के साथ एक पॉडकास्ट में विजय माल्या ने कई बड़े खुलासे किए हैं और तत्कालीन वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी से लेकर अरुण जेटली तक का नाम लिया है।
माल्या ने किंगफिशर एयरलाइंस के पतन की वजह भी बताई। विजय माल्या ने 2008 में आए ग्लोबल फाइनेंशियल क्राइसिस को एयरलाइन के डाउनफॉल के लिए जिम्मेदार बताया। उसने कहा कि जब एयरलाइन संकट का सामना कर रही थी, तब उसने समाधान के लिए प्रणब मुखर्जी से संपर्क किया था।
2005 में लॉन्च हुई था किंगफिशर एयरलाइंस
किंगफिशर एयरलाइंस की शुरुआत 2005 में हुई थी। विजय माल्या ने कहा कि 'इसके 3 साल बाद दुनिया फाइनेंशियल क्राइसिस की चपेट में आ गई। पैसा आना बंद हो गया और असर किंगफिशर एयरलाइन पर भी पड़ा। मैं तत्कालीन वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी से मिलने पहुंचा। मैंने उसने कहा कि मुझे एयरलाइन के आकार को छोटा करना पड़ेगा।'
माल्या ने कहा, 'मैंने प्रणब मुखर्जी से कहा कि मुझे एयरक्राफ्ट की संख्या घटानी पड़ेगी और कर्मचारियों की छंटनी करनी पड़ेगी। मैं ऐसी बुरी आर्थिक परिस्थिति में फ्लाइट ऑपरेशन का जोखिम नहीं उठा सकता।' माल्या ने कहा कि प्रणब मुखर्जी ने उसकी अपील को खारिज कर दिया।
'बैंकों के समर्थन का किया था वादा'
- पॉडकास्ट में विजय माल्या ने आगे कहा कि 'प्रणब मुखर्जी ने मुझे एयरलाइन को डाउनसाइज नहीं करने को कहा और आश्वासन दिया कि बैंक मदद करेंगे। इस तरह ये सब शुरू हुआ।' माल्या ने कहा कि इन सबके बावजूद अंतत: किंगरफिशर एयरलाइंस फाइनेंशियल क्राइसिस में फंस गई और इसकी सभी फ्लाइट्स को बंद करना पड़ा।
- बैंकों के कर्ज को लेकर माल्या ने कहा कि उसने बैंकों को सेटलमेंट के लिए 4 प्रस्ताव दिए थे, लेकिन उन्हें खारिज कर दिया गया। माल्या ने कहा कि उसने अकाउंट के फॉर्मल स्टेटमेंट के लिए 15 बार रिमाइंडर भेजा था, लेकिन कभी भी नहीं मिला। जबकि उसे 14,131.6 करोड़ रुपये के कर्ज के बारे में केवल संसद में वित्त मंत्री के बयान के माध्यम से ही पता चला।
- विजय माल्या ने अरुण जेटली का भी जिक्र किया। उसने कहा कि 2016 में मैं जेनेवा मीटिंग के लिए जा रहा था। मैंने इस बारे में अरुण जेटली को भी बताया था। लेकिन मेरा पासपोर्ट रद कर दिया गया और मैं लंदन में अटक गया। ये कोई एस्केप प्लान नहीं था। मैं चोर या भगोड़ा नहीं हूं।
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