चंडीगढ़ पुलिस में कांस्टेबलों की पदोन्नति और चयन प्रक्रिया में बड़ा बदलाव, जानें क्या हैं नियम
चंडीगढ़ पुलिस ने कांस्टेबल पदोन्नति और चयन प्रक्रिया में पारदर्शिता लाने के लिए नियमों में बदलाव किया है। स्टैंडिंग आर्डर नंबर 48/2023 में संशोधन का मसौदा जारी किया गया है जिसमें बी-1 टेस्ट के प्रारूप में बदलाव शामिल हैं। अब लिखित परीक्षा और रिकॉर्ड मूल्यांकन के आधार पर चयन होगा। संशोधित पाठ्यक्रम में कई नए कानून जोड़े गए हैं।

जागरण संवाददाता, चंडीगढ़। चंडीगढ़ पुलिस के कांस्टेबलों की पदोन्नति और प्रशिक्षण प्रक्रिया में पारदर्शिता और आधुनिकता लाने के लिए चंडीगढ़ पुलिस ने बड़ा कदम उठाया है। नई व्यवस्था में किए गए संशोधन के अनुसार अब बी-1 टेस्ट दो हिस्सों में आयोजित किया जाएगा। लिखित परीक्षा का परिणाम सील बंद लिफाफे में रखा जाएगा और अंतिम चयन सूची तैयार करते समय ही खोला जाएगा।
पुलिस मुख्यालय, सेक्टर-9 से जारी आदेश के तहत स्टैंडिंग ऑर्डर नंबर 48/2023 में संशोधन का ड्राॅफ्ट जारी किया गया है। यह संशोधन पंजाब पुलिस नियम 1934 की धारा 13.20 के अंतर्गत बनने वाली लिस्ट-‘बी’ (निम्न पाठशाला पाठ्यक्रम) में चयन की प्रक्रिया को और व्यवस्थित करेगा।
परीक्षा और अंक
लिखित परीक्षा (65 अंक) और रिकाॅर्ड मूल्यांकन (35 अंक)
लिखित परीक्षा (65 अंक, समय 2 घंटे)
भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) 20 अंक
भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) 20 अंक
पंजाब पुलिस एक्ट, पुलिस नियम एवं स्थानीय/विशेष कानून 15 अंक
सामान्य ज्ञान/समसामयिकी एवं रीजनिंग 10 अंक
रिकाॅर्ड मूल्यांकन के 35 अंक होंगे। इसमें पुलिस कर्मियों की सेवा अवधि, पदक, प्रशंसनीय प्रविष्टियां और अन्य उपलब्धियों के आधार पर अंक दिए जाएंगे।
राष्ट्रपति वीरता पुरस्कार के 5 अंक
राष्ट्रपति पुलिस पदक (विशिष्ट/मेधावी सेवा) के 10 अंक
प्रशासनिक पुलिस पदक के 10 अंक
जीवन रक्षा पदक के 15 अंक
केंद्रीय गृह मंत्रालय दक्षता पदक के 5 अंक
सेवा अवधि: 1 से 15 वर्ष तक 1 अंक प्रति वर्ष (अधिकतम 15 अंक)
नया पाठ्यक्रम
संशोधन में बी-1 टेस्ट का विस्तृत संशोधित पाठ्यक्रम भी जारी किया गया है। इसमें बीएनएस और बीएनएसएस की महत्वपूर्ण धाराएं, पंजाब पुलिस एक्ट 2007, पंजाब पुलिस नियमों के प्रमोशन, अनुशासन, दंड और पुलिस स्टेशन संचालन से जुड़े प्रावधानों को शामिल किया गया है। इसके अतिरिक्त
निम्न विशेष कानून भी परीक्षा का हिस्सा होंगे
एनडीपीएस एक्ट, 1985
पाक्सो एक्ट
शस्त्र अधिनियम, 1959
अनुसूचित जाति/जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम, 1989
किशोर न्याय अधिनियम
अनैतिक देह व्यापार निवारण अधिनियम
आबकारी अधिनियम आदि।
21 दिन के भीतर आपत्तियां आमंत्रित
चंडीगढ़ पुलिस ने सभी यूनिट इंचार्जों को निर्देश दिया है कि इस ड्राॅफ्ट संशोधन को नोटिस बोर्ड पर प्रदर्शित किया जाए और इसकी जानकारी सभी पुलिसकर्मियों को दी जाए। साथ ही इस पर आपत्तियां या सुझाव 21 दिनों के भीतर प्रस्तुत किए जा सकते हैं।
निर्धारित समय के बाद आने वाली आपत्तियां मान्य नहीं होंगी। इस संशोधन पर पुलिस महानिदेशक सागर प्रीत हुड्डा ने हस्ताक्षर किए हैं। उनका कहना है कि यह बदलाव चयन प्रक्रिया को और अधिक पारदर्शी और निष्पक्ष बनाने के उद्देश्य से किया गया है।
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