कर्जा माफी से लेकर मुआवजे तक, शिरोमणि अकाली दल ने बाढ़ पीड़ितों के लिए सरकार से की मदद की मांग
शिरोमणि अकाली दल ने केंद्र और राज्य सरकार से बाढ़ प्रभावितों को मुआवजा देने की मांग की है। पार्टी ने आपदा कोष पर राजनीति न करने और कोष का लेखा-जोखा सार्वजनिक करने का आग्रह किया है। अकाली दल ने किसानों के लिए कर्जा माफी की भी अपील की और मुख्यमंत्री से तत्काल मुआवजा प्रदान करने का अनुरोध किया।

राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। शिरोमणि अकाली दल ने आज केंद्र और राज्य की आम आदमी पार्टी सरकार से राज्य आपदा प्रतिक्रिया कोष के मुददे पर राजनीति न करने का आग्रह करते हुए खेत मजदूरों और दुकानदारों साहित बाढ़ प्रभावितों के लिए जल्द मुआवजा जारी करने की मांग की है। पार्टी ने बाढ़ प्रभावित किसानों के लिए कर्जा माफी की अपील करते हुए कहा कि कर्ज पर छह महीने की मोहलत से उन्हें कोई मदद नही मिलेगी।
अकाली दल के वरिष्ठ नेता डाॅ.दलजीत सिंह चीमा ने कहा यह बेहद निंदनीय है कि पंजाबियों की इस मुश्किल घड़ी में आपदा कोष पर राजनीति चल रही है। उन्होने कहा,‘‘ केंद्र और राज्य सरकार , दोनों ही राज्य के पास पड़ी धनराशि को लेकर विवाद कर रहे हैं। अलग-अलग राज्य के मंत्री अलग-अलग आंकड़े दे रहे हैं।
उन्होने कहा कि इस मुददे पर जानबूझकर भ्रम फैलाने से बेहतर तो यह होगा कि राज्य आपदा कोष का लेखा-जोखा, जो अप्रैल 2020 में गृहमंत्रालय के सामने प्रस्तुत किया जाना था, उसे सार्वजनिक कर दे। इससे आपदा कोष की राशि को लेकर भ्रम तो दूर होगा ही बल्कि जरूरत पड़ने पर पंजाब को आवश्यक धन उपलब्ध कराया जाना भी सुनिश्चित हो सकेगा।’’
डाॅ. दलजीत चीमा ने मुख्यमंत्री भगवंत मान से प्रेस कांफ्रेंस करके घोषणाएं करने के बजाय बाढ़ पीड़ितों को तत्काल मुआवजा प्रदान करने का अनुरोध किया। उन्होने कहा कि मुख्यमंत्री की प्रेस काफ्रेंस से कुछ नया होने के बजाय यह राज्य मंत्रिमंडल द्वारा पहले से घोषणा की गई फैसलों की पुनरावृति थी।
उन्होंने कहा कि यह बेहद निंदनीय है कि खेत मजदूरों और दुकानदारों को मुआवजा देने से वंचित रखा गया इसीलिए उनके नुकसान की भरपाई की जानी चाहिए। उन्होने यह भी कहा कि कर्ज माफी से किसानों को नए सिरे से शुरूआत मरने में सहायता मिलेगी, क्योंकि बाढ़ का प्रभाव लगभग दो-तीन साल तक पड़ना जारी रहता है।
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