पंजाब में पराली जलाने का सिलसिला जारी, एक दिन में 351 घटनाएं आईं सामने फिर बढ़े मामले
पंजाब में पराली जलाने का सिलसिला फिर से शुरू हो गया है, गुरुवार को 351 मामले सामने आए। मंडी गोबिंदगढ़ में एक्यूआइ खराब स्तर पर पहुंच गया। सबसे ज्यादा घटनाएं मोगा जिले में दर्ज की गईं। इस साल अब तक 3,284 मामले सामने आए हैं, जबकि पिछले साल यह आंकड़ा अधिक था। जुर्माने की कमी के कारण पराली जलाने की घटनाएं बढ़ रही हैं।

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जागरण संवाददाता, पटियाला। वर्षा से थमा पंजाब में पराली जलाने का सिलसिला फिर बढ़ता जा रहा है। वीरवार को एक बार फिर पराली जलाए जाने की घटनाओं ने तेजी पकड़ी।
वीरवार को राज्य में पराली जलाए जाने की कुल 351 घटनाएं हुईं। इसका परिणाम यह रहा कि मंडी गोबिंदगढ़ में एक्यूआइ जहां 233 (खराब) दर्ज किया गया, वहीं बाकी प्रमुख शहरों में यह संतोजनक श्रेणी में रहा। वीरवार को राज्य में पराली जलाए जाने की 351 घटनाओं के साथ आंकड़ा 3,284 तक पहुंच गया है।
वीरवार को सबसे ज्यादा 46 घटनाएं मोगा में दर्ज की गईं। इसके बाद मुक्तसर में 40, संगरूर में 31, लुधियाना में 29, तरनतारन और फिरोजपुर में 28-28 और बठिंडा में 27 घटनाएं हुईं।
इस वर्ष छह नवंबर तक राज्य में पराली जलाए जाने की जहां कुल 3284 घटनाएं हुईं हैं, जबकि बीते वर्ष छह नवंबर तक 5041 जगह पराली जलाई गई थी। इसके विपरीत अगर पराली जला दी जाए तो जुर्माना कम होता है। फिर जुर्माना भरना भी पक्का नहीं।

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