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    संगरूर में पराली की आग बुझाने पहुंची पुलिस टीम को किसानों ने घेरा, यूनियन ने लगाया उत्पीड़न का आरोप

    Updated: Sun, 26 Oct 2025 06:00 AM (IST)

    संगरूर में पराली जलाने को लेकर किसान और प्रशासन में टकराव बढ़ गया है। भवानीगढ़ में किसानों ने पराली जलाने से रोकने आई पुलिस का घेराव किया। जिले में अब तक पराली जलाने के 28 मामले सामने आए हैं, और पुलिस ने एक किसान के खिलाफ मामला भी दर्ज किया है। किसान यूनियन ने प्रशासन पर उत्पीड़न का आरोप लगाया है।

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    संगरूर में पराली की आग बुझाने पहुंची पुलिस टीम को किसानों ने घेरा (फोटो: जागरण)

    जागरण संवाददाता, संगरूर। धान कटाई के बाद अब पराली को आग लगाने के मामले भी तेज होने लगे हैं। पराली जलाने को लेकर किसान व प्रशासन आमने-सामने आता दिखाई दे रहा है। प्रशासन द्वारा जहां किसानों को पराली न जलाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है, वहीं किसान पराली जलाने की जिद्द पर अड़े हैं। किसानों ने चेतावनी दी है कि यदि किसी किसान पर प्रशासन द्वारा कार्रवाई की गई तो उसका कड़ा विरोध किया जाएगा।

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    ऐसा ही मामला शनिवार को भवानीगढ़ के नजदीकी गांव लखेवाल में देखने को सामने आया, जहां पराली को आग लगाने से रोकने पहुंचे पुलिस कर्मचारियों का किसानों ने घेराव किया। भारतीय किसान यूनियन (आजाद) की अगुआई में किसानों ने जोरदार नारेबाजी की।

    यूनियन के प्रांतीय नेता गुरदेव सिंह गज्जूमाजरा व ब्लाक नेता बलविंदर सिंह लखेवाल ने बताया कि किसानों ने बेलर मशीन के जरिए पराली की गांठें बना ली थीं। खेतों में जो थोड़ी-बहुत पराली बच गई थी, उसे ही आग लगाई गई थी। इसी दौरान आग को बुझाने और रोकने के लिए भवानीगढ़ पुलिस मौके पर पहुंच गई।

    उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र व पंजाब सरकार पराली प्रबंधन को लेकर गंभीर नहीं हैं, बल्कि जानबूझकर किसानों को परेशान कर रही हैं। किसान पर्यावरण को प्रदूषण से बचाने के लिए बेलर से पराली की गांठें बना रहे हैं, लेकिन इसके बावजूद प्रशासन किसानों पर धक्केशाही कर रहा है। किसानों व पुलिस के बीच काफी देर तक तनातनी बनी रही। करीब आधा घंटे बाद पुलिस टीम वापस लौट गई।

    गौर हो कि जिला संगरूर में अब तक पराली जलाने के 28 मामले सामने आ चुके हैं। शनिवार को शाम तक पांच जगह आग लगने की सूचना विभाग को मिली। सूचना मिलने के बाद प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, कृषि विभाग व नोडल अफसर की टीम मौके पर पहुंचकर स्थिति का जायजा लेते हैं। पराली जलाए जाने पर किसान के खिलाफ जमीनी रिकार्ड की रेड एंट्री करने के साथ ही कानूनी कार्रवाई की जाती है।

    उधर, थाना शेरपुर पुलिस ने गत दिवस सूचना के आधार पर किसान समरजीत सिंह निवासी टिब्बा के खिलाफ बीएनएस की धारा 223 के तहत मामला दर्ज किया। कलस्टर नोडल अफसर सौरव गोयल ने पुलिस को सूचना दी कि हलका पटवारी टिब्बा ने उक्त किसान के खेत में पराली को आग लगा पाई, जिसकी रिपोर्ट बनाकर भेजी गई।

    इस रिपोर्ट के आधार पर पुलिस ने केस दर्ज कर लिया है। जिले में अब तक 12 मामले दर्ज किए जा चुके हैं। इंस्पेक्टर मालविंदर सिंह ने कहा कि सरकार के निर्देशों के अनुसार पर्यावरण को प्रदूषित होने से बचाने के लिए पुलिस द्वारा किसानों को पराली में आग लगाने से रोका गया।