अमेरिका को स्मार्टफोन एक्सपोर्ट करने के मामले में भारत ने चीन को पीछे छोड़ा
एक रिपोर्ट के मुताबिक भारत ने स्मार्टफोन निर्यात में चीन को पीछे छोड़ दिया है खासकर अमेरिका को निर्यात के मामले में। मेड इन इंडिया स्मार्टफोन की मात्रा में 240% की वृद्धि हुई है। Apple भारत में iPhone 16 Series के प्रो मॉडल की मैन्युफैक्चरिंग कर रहा है। भारत अमेरिका में बिकने वाले स्मार्टफोन का प्रमुख विनिर्माण केंद्र बन गया है।

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। अमेरिका को निर्यात किए जाने वाले स्मार्टफोन के मामले में भारत ने कैलेंडर वर्ष 2025 की दूसरी तिमाही में चीन को पीछे छोड़ दिया है। कैनालिस (अब ओमडिया का हिस्सा) के रिसर्च से पता चला है कि अप्रैल-जून की अवधि के दौरान चीन में असेंबल किए गए अमेरिकी स्मार्टफोन निर्यात की हिस्सेदारी एक साल पहले के 61 प्रतिशत से घटकर 25 प्रतिशत रह गई है।
बता दें कि टैरिफ संबंधी चिंताओं के बीच विक्रेताओं द्वारा उपकरणों की इन्वेंट्री को आगे बढ़ाने के कारण चालू कैलेंडर वर्ष की दूसरी तिमाही में अमेरिका में स्मार्टफोन निर्यात में एक प्रतिशत की वृद्धि हुई है।कैनालिस (अब ओमडिया का हिस्सा) ने कहा, 'चीन की हिस्सेदारी में गिरावट का अधिकांश फायदा भारत को हुआ है। मेड इन इंडिया स्मार्टफोन की कुल मात्रा में साल-दर-साल 240 प्रतिशत की वृद्धि हुई है और अब अमेरिका में आयातित स्मार्टफोन में उसकी हिस्सेदारी 44 प्रतिशत हो गई है। 2024 की दूसरी तिमाही में अमेरिका को स्मार्टफोन निर्यात में भारत की हिस्सेदारी केवल 13 प्रतिशत थी।'
कैनालिस के मुताबिक, दूसरी तिमाही में आइफोन का निर्यात साल-दर-साल 11 प्रतिशत घटकर 1.33 करोड़ यूनिट रह गया, जो 2025 की पहली तिमाही में हुई 25 प्रतिशत की वृद्धि से कम है। सैमसंग का निर्यात साल-दर-साल 38 प्रतिशत बढ़कर 83 लाख यूनिट हो गया। मोटोरोला ने अमेरिका में अपना विस्तार जारी रखा और उसका निर्यात दो प्रतिशत बढ़कर 32 लाख यूनिट हो गया। गूगल और टीसीएल शीर्ष पांच में शामिल रहे। गूगल का निर्यात 13 प्रतिशत बढ़कर आठ यूनिट हो गया। वहीं TCL का निर्यात 23 प्रतिशत घटकर सात लाख यूनिट रह गई।
एपल ने भारत में iPhone 16 Series के प्रो मॉडल की मैन्युफैक्चरिंग और असेंबलिंग शुरू कर दी है। हालांकि, अमेरिका में प्रो मॉडल की आवश्यक आपूर्ति के लिए वह अभी भी चीन में स्थापित विनिर्माण केंद्रों पर निर्भर है। सैमसंग और मोटोरोला ने भी भारत से अमेरिका को आपूर्ति में अपनी हिस्सेदारी बढ़ा दी है, लेकिन उनकी गतिविधियां एपल की तुलना में काफी धीमी और छोटे पैमाने पर हैं।
भारत 2025 की दूसरी तिमाही में पहली बार अमेरिका में बिकने वाले स्मार्टफोन का प्रमुख विनिर्माण केंद्र बन गया है। इसकी मुख्य वजह अमेरिका और चीन के बीच अनिश्चित व्यापार परिदृश्य के बीच एपल द्वारा भारत में सप्लाई चेन में बदलाव करना है। एपल ने अपनी 'चाइना प्लस वन' रणनीति के तहत पिछले कई वर्षों में भारत में अपनी उत्पादन क्षमता का विस्तार किया है।
-संयम चौरसिया, प्रमुख विश्लेषक, कैनालिस
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