दामाद की हत्या में कलक्ट्रेट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष , पुत्र और पुत्री सहित दोषी, हिरासत में लिए
आगरा में बैंक मैनेजर की हत्या के मामले में कोर्ट ने बार एसोसिएशन के अध्यक्ष, बेटे और बेटी को दोषी पाया। मृतक के पिता की शिकायत पर मामला दर्ज हुआ था। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में गला घोंटने और जलाने की पुष्टि हुई। कोर्ट ने तीनों आरोपियों को हिरासत में लेकर जेल भेज दिया है। सजा का ऐलान 15 अक्टूबर को होगा।

जागरण संवाददाता, आगरा। बैंक मैनेजर दामाद को प्रेस से जलाने और गला घोंट कर हत्या के मामले में न्यायालय ने आरोपित कलक्ट्रेट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष बृजेंद्र रावत,उनके बेटे कृष्णा रावत और बेटी मोना को दोषी माना है।
न्यायालय ने तीनाें को न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेजा है और सुनवाई के लिए बुधवार 15 अक्टूबर की तिथि नियत की है। मृतक सचिन उपाध्याय के पिता केशव देव ने थाना ताजगंज में 12 अक्टूबर को मुकदमा दर्ज कराया था। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में चोटें और प्रेस से जलाने के बाद गला घोंट कर हत्या की पुष्टि हुई थी।
शमशाबाद रोड स्थित रामरघु एग्जोटिका में 12 अक्टूबर 2023 को बैंक आफ इंडिया की शमशाबाद शाखा के मैनेजर सचिन उपाध्याय का शव मिला था। पत्नी मोना उर्फ प्रियंका ने पति के आत्महत्या करने की बात कही थी। मृतक के पिता केशव देव ने हत्या का शक जताया था।
पुलिस ने शिकायत पर चिकित्सकों के पैनल से पोस्टमार्टम कराया था। उसकी वीडियोग्राफी भी की गई थी। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सचिन के शरीर पर छह चोटें,दो जगह जलाने के निशान मिले थे। उनकी मृत्यु गला दबाने से दम घुटने के कारण होने की पुष्टि हुई थी। केशव देव ने बेटे की हत्या और हत्या की साजिश में बेटे की पत्नी मोना उर्फ प्रियंका रावत, उसके ससुर,कलक्ट्रेट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष बृजेंद्र रावत,साले कृष्णा रावत और एक अज्ञात पर मुकदमा दर्ज कराया था।
20 अक्टूबर 2023 को पुलिस ने कृष्णा रावत को गिरफ्तार किया था। हाईकोर्ट में जमानत के लिए गए बृजेंद्र रावत और मोना उर्फ प्रियंका को 28 अक्टूबर को प्रयागराज से गिरफ्तार किया गया था। मुकदमा के विचारण में वादी मुकदमा सहित 18 गवाह अभियोजन की तरफ से न्यायालय में प्रस्तुत किए।
बचाव पक्ष की तरफ से भी अपनी बेगुनाही साबित करने के लिए चार गवाह प्रस्तुत किए गए। मंगलवार को एडीजे - 17 नितिन कुमार ठाकुर ने पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्य के आधार पर बैंक मैनेजर की पत्नी प्रियंका उर्फ मोना और साले कृष्णा रावत को हत्या के आरोप में व ससुर बृजेंद्र रावत को सबूत नष्ट करने के आरोप में दोषी करार देते हुए न्यायिक अभिरक्षा में लेकर जेल भेजने के आदेश दिए। तीनों को सजा सुनाने के लिए पत्रावली पर 15 अक्टूबर नियत की गई है। न्यायालय के आदेश पर तीनों को हिरासत में लेकर जेल भेज दिया गया।
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