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    आरक्षण की उलझन के बीच गरमाने लगा पंचायत चुनाव का माहौल, बीटीसी और जिला पंचायत सदस्य भी सक्रिय

    Updated: Sat, 08 Nov 2025 01:04 PM (IST)

    पंचायत चुनावों के लिए आरक्षण की स्थिति स्पष्ट न होने पर भी माहौल गरमा गया है। बीटीसी और जिला पंचायत सदस्य सक्रिय हैं। उम्मीदवार मतदाताओं को लुभाने में लगे हैं, जबकि मतदाता भी उत्साहित हैं। आरक्षण की घोषणा के बाद ही चुनाव की तस्वीर साफ हो पाएगी।

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    आकाश अग्रवाल, जागरण, फतेहगंज पूर्वी (बरेली)। पंचायत चुनाव के लिए ना ही आरक्षण तय हुआ और न ही कार्यक्रम ही घोषित हो सका है। इसके बावजूद गांवों में चुनावी चौसर बिछने लगी है। प्रत्याशियों ने चुनावी बिसात बैठाना शुरु कर दिया है। फतेहगंज पूर्वी क्षेत्र में 72 ग्राम पंचायतें हैं। वहीं फरीदपुर और भुता दो ब्लाक लगने के कारण दो ब्लाक प्रमुख पदों में भी क्षेत्र की भागीदारी रहती है।

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    जिला पंचायत सदस्य भी अपने दम भरते दिखाई देने लगे है। लेकिन अभी तक प्रधान पद,बीटीसी मेम्बर व जिला पंचायत सदस्य पद के लिए आरक्षण का निर्धारण नहीं हो पाया है। चर्चा है कि आरक्षण के चक्रानुक्रम का फार्मूला लागू किया जाएगा। पंचायत चुनाव के संभावित उम्मीदवार इसी के मुताबिक तैयारी करने जुटे हैं।

    गांवों में खेमेबाजी भी उभरकर सामने आने लगी है। गांव में चुनाव को लेकर चल रही बतकही में ''फला आरक्षण पर हम तुमरे अलावा कोई कहियां चुनाव नाइ लड़ाइव, लेकिन भाई हमरव ध्यान राखेव'' आसानी से सुना जा सकता है। उधर, इस चौसरबाजी का ग्रामीण भी खूब आनंद ले रहे हैं।

    इंटरनेट मीडिया पर सक्रिय,वाट्सएप ग्रुप भी बनाए

    संभावित दावेदार इंटरनेट मीडिया पर पूरी तरह सक्रिय हैं। दावेदारों ने अपने-अपने वाट्सएप ग्रुप भी बना रखे हैं। इनके माध्यम से वह दूसरे शहरों में रह रहे गांव के लोगों को संदेश भेजकर जुड़ाव बना रहे हैं। पर्व,त्योहार पर शुभकामना संदेश भेजने के साथ ही वर्तमान जनप्रतिनिधि के विपक्षी दावेदार गांव की कमियों को भी इंटरनेट मीडिया पर पोस्ट करने के साथ ही अधिकारियों को टैग भी कर रहे हैं। श्रेय लेने के लिए कार्रवाई होने पर उसका स्टेट्स लगाने के साथ उसको विभिन्न ग्रुपों पर शेयर भी करते हैं।

    आरक्षण की ले रहे टोह

    संभावित दावेदार आरक्षण की जानकारी हासिल करने को लेकर भी सक्रिय हैं। वह पंचायत चुनाव जानकार पूर्व प्रधानों के साथ ही ब्लाक मुख्यालय के अधिकारी-कर्मचारियों से भी इसका गणित समझ रहे हैं। वह उन्हें आरक्षण चक्र समझाने का भी प्रयास करते हैं।