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    आबादी के बीच पाया गया किंग कोबरा...उपचार न मिले तो 30 मिनट में चली जाती है जान

    By Ajeet Chaudhary Edited By: Praveen Vashishtha
    Updated: Mon, 27 Oct 2025 05:44 PM (IST)

    Bijnor News: बिजनौर में वन विभाग की टीम ने अमानगढ़ टाइगर रिजर्व के पास एक गांव से किंग कोबरा को पकड़ा। यह पहली बार है कि किंग कोबरा आबादी में पाया गया। सांप को अमानगढ़ के जंगल में छोड़ दिया गया। किंग कोबरा एक संकटग्रस्त प्रजाति है और इसका जहर बहुत घातक होता है, जिससे समय पर इलाज न मिलने पर आधे घंटे में मौत हो सकती है।

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    अमानगढ़ टाइगर रिजर्व के पास वन विभाग की टीम द्वारा पकड़ा गया किंग कोबरा। सौ. वन विभाग

    जागरण संवाददाता, बिजनौर। वन विभाग की टीम ने अमानगढ़ टाइगर रिजर्व के पास स्थित गांव से किंग कोबरा सांप को पकड़ा है। ऐसा पहली बार हुआ है कि किंग कोबरा आबादी में पकड़ा गया है। उसे अमानगढ़ के अंदर छोड़ दिया गया। कोबरा संकटग्रस्त प्रजाति में शामिल है। इसका जिले में दिखना यहां की जैव विविधता को दर्शाता है।
    दो वर्ष पहले अमानगढ़ में वनकर्मियों को किंग कोबरा एक मानिटर लिजर्ड को खाता हुआ दिखाई दिया था। तब पहली बार पता चला था कि जिले में किंग कोबरा सांप भी हैं। रविवार शाम को वन विभाग की टीम को अमानगढ़ टाइगर रिजर्व के पास गांव छजमलवाला में अशोक कुमार व मेघराज सैनी के घर के पास बड़ा सांप होने की सूचना मिली। वन विभाग की टीम मौके पर पहुंची तो वहां किंग कोबरा सांप घेर में फन फैलाए बैठा था।

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    वन विभाग कि टीम ने भी इससे पहले किंग कोबरा नहीं पकड़ा था। टीम ने किसी तरह किंग कोबरा को घेरा। किंग कोबरा हमला करने के बजाए उनके द्वारा रखी गई बोरी के मुंह में लगे पाइप में आराम से चला गया। टीम ने उसे बोरी में बंद कर लिया और अमानगढ़ के अंदर छोड़ा गया। किंग कोबरा की लंबाई लगभग 15 फीट तक है।
    उपचार न मिलने पर 30 मिनट में चली जाती है जान
    किंग कोबरा भारत में पाए जाने वाले सबसे बड़े आकार का जहरीला सांप है। आमतौर पर मनुष्यों पर हमला करने से बचता है लेकिन सर्पदंश करने पर एक ही बार में 20 से 30 मिलीग्राम जहर छोड़ता है। मनुष्य के पास उपचार कराने के लिए केवल 15 मिनट का समय होता है। उपचार न मिलने पर 30 मिनट में ही मनुष्य की मौत हो जाती है। इसका जहर कोबरा, कामन करैत और रसल वाइपर से कहीं अधिक घातक होता है।
    यह होती है पहचान
    कोबरा सांप काले रंग का होता है और छह फीट से अधिक लंबा नहीं होता है। किंग कोबरा भी काले रंग का होता है, लेकिन इसके पूरे शरीर पर पीले रंग के छल्ले बने होते हैं। कोबरा का फन गोलाकार सा होता है जबकि किंग कोबरा का फन अधिक नहीं खुलता है। अंशुमान मित्तल एसडीओ वन विभाग ने बताया कि अमानगढ़ के पास के एक गांव में किंग कोबरा पकड़ा गया था। उसे अमानगढ़ में छोड़ दिया गया है। अमानगढ़ में किंग कोबरा सांप को कई बार देखा जा चुका है।