पश्चिम उप्र को अलग राज्य बनाने की मांग उठी... अब इस मंच से कहा गया-अलग राज्य बनने से आएगी खुशहाली
पश्चिम प्रदेश निर्माण संयुक्त मोर्चा अध्यक्ष डीपी यादव ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश को अलग राज्य बनाने की मांग का समर्थन करते हुए कहा कि इससे क्षेत्र आर्थिक रूप से मजबूत होगा। उन्होंने पश्चिमी उत्तर प्रदेश में विकास की अपार संभावनाएं बताईं और कहा कि अलग राज्य बनने से उद्योगों और व्यवसायों को बढ़ावा मिलेगा, जिससे रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। उन्होंने किसानों को बेहतर सुविधाएं मिलने और क्षेत्रीय संतुलन स्थापित होने की बात भी कही।

गुलावठी के वैदिक इंटर कालेज औरंगाबाद अहीर में जनसभा को संबोधित करते पूर्व मंत्री डीपी यादव। जागरण
संवाद सहयोगी, जागरण, गुलावठी (बुलंदशहर)। वैदिक इंटर कालेज औरंगाबाद अहीर में पश्चिम उत्तर प्रदेश को अलग राज्य बनाए जाने की मांग को लेकर जनसभा हुई, जिसमें पूर्व मंत्री एवं पश्चिम प्रदेश निर्माण संयुक्त मोर्चा के राष्ट्रीय संयोजक डीपी यादव ने बतौर मुख्य अतिथि के रूप में कहा कि अलग राज्य बनने से पश्चिम उप्र आर्थिक रूप से मजबूत होगा। उन्होंने लोगों से अपने बच्चों व परिवार की खुशहाली के लिए इस लड़ाई में साथ देने का आह्वान किया।
डीपी यादव ने कहा कि इस लड़ाई में उनका कोई स्वार्थ नहीं है। उनका मकसद भलाई करना है और वे राजनीति में जनता को ताकत देने और समाज को आगे बढ़ाने के लिए आए हैं। उन्होंने कहा कि देश की सरकारें धर्म व मजहब की राजनीति कर रही हैं। आज राजनीति को दूसरी दिशा दे गई है। उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव की प्रशंसा करते हुए उन्हें मजबूत व गरीबों का रहनुमा बताया।
परमवीर चक्र विजेता सेवानिवृत्त आनरेरी कैप्टन योगेंद्र यादव ने कहा कि पश्चिम प्रदेश अलग राज्य बनने से शिक्षा, चिकित्सा, सुरक्षा, रोजगार, किसान, नौजवान आदि की दृष्टि से समृद्ध होगा। पश्चिम उप्र की गिनती विश्व के विकसित प्रदेश में होगी। पूर्व केंद्रीय मंत्री चौधरी वीरेंद्र सिंह, पूर्व राज्यमंत्री हरीशचंद्र भाटी, जनरल अहलावत, कर्नल सुधीर कुमार, सत्यपाल सिंह एडवोकेट आदि वक्ताओं ने भी अलग राज्य निर्माण की मांग का समर्थन किया।
कार्यक्रम में लोक गायक ब्रह्मपाल नागर एंड पार्टी ने रागिनी से मौजूद लोगों का भरपूर मनोरंजन कराया। सुरेंद्र यादव, सुनील यादव, धर्मपाल यादव, मास्टर रामपाल यादव, आरएन यादव, हाजी नूर मोहम्मद कुरैशी, जगवीर धनकड़, एडवोकेट नवीन तेवतिया, कमल यादव के अलावा बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे। अध्यक्षता कर्ण सिंह यादव ने की तथा संचालन कवि डा.अर्जुन सिसौदिया ने किया।

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