चलती ट्रेन की कपलिंग टूटने से तीन कोच हो गए अलग, यात्रियों में मचा हड़कंप; बाल-बाल बचे
चित्रकूट के पास, मानिकपुर-सतना रेलखंड पर भागलपुर एक्सप्रेस के तीन डिब्बे कपलिंग टूटने से अलग हो गए। घटना सुबह करीब पौने तीन बजे हुई, लेकिन ट्रेन की गति कम होने से कोई जनहानि नहीं हुई। रेलवे ने तुरंत कार्रवाई करते हुए क्षतिग्रस्त कोच को अलग कर दिया और अन्य डिब्बों को जोड़ा। लगभग चार घंटे बाद यातायात सामान्य हो गया। रेलवे ने घटना की जांच के आदेश दिए हैं।
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जागरण संवाददाता, चित्रकूट। सोमवार तड़के मानिकपुर-सतना रेलखंड पर एक बड़ा हादसा टल गया। लोकमान्य तिलक टर्मिनस से भागलपुर जा रही (12336) भागलपुर एक्सप्रेस के तीन कोच अचानक ट्रेन से अलग हो गए। घटना मध्यप्रदेश के सतना जिले के मझगवां और टिकरिया स्टेशन के बीच भोर करीब पौने तीन बजे हुई।
बताया जा रहा है कि एस-1 कोच की कपलिंग टूट जाने से तीन डिब्बे ट्रेन से अलग हो गए। गनीमत रही कि उस समय ट्रेन की रफ्तार मात्र 10 किलोमीटर प्रतिघंटा थी, जिससे किसी प्रकार की जनहानि नहीं हुई।
कपलिंग टूटने के तेज झटके से यात्रियों में अफरा-तफरी मच गई। कुछ देर तक स्थिति स्पष्ट न होने पर ट्रेन रोक दी गई। मंडल सुरक्षा नियंत्रण कक्ष जबलपुर से तीन बजकर दस मिनट सूचना मिलने पर रेल सुरक्षा बल (आरपीएफ) सतना की सूचना मिली। निरीक्षक वीके यादव फोर्स सहित सुबह करीब पांच बजे घटनास्थल पहुंचे। मौके पर मझगवां स्टेशन का हाल्टेड स्टाफ व ट्रेन में तैनात एस्कॉर्ट पार्टी पहले से मौजूद थी।
रेलवे के वरिष्ठ अधिकारी और तकनीकी टीम मौके पर पहुंची। एस-1 कोच को क्षतिग्रस्त मानते हुए ट्रेन से अलग कर दिया गया। इसके बाद शंटिंग कार्यवाही पूरी कर एस-2 कोच को पुनः मुख्य डिब्बों से जोड़ा गया। अंततः सुबह करीब आठ बजे ट्रेन को टिकरिया स्टेशन से भागलपुर के लिए रवाना कर दिया गया।
इस घटना के चलते डाउन लाइन की कुल 12 ट्रेनों का संचालन बाधित रहा, जिनमें उधना-जयनगर अंत्योदय एक्सप्रेस, ताप्ती गंगा एक्सप्रेस, काशी एक्सप्रेस, गोदान एक्सप्रेस, अहमदाबाद–गोरखपुर एक्सप्रेस, पवन एक्सप्रेस, सिकंदराबाद-दानापुर सुपरफास्ट एक्सप्रेस,रायपुर से कानपुर जाने वाली बेतवा एक्सप्रेस सहित अन्य ट्रेनें शामिल थीं।
हालांकि, रेलवे प्रशासन की तत्परता से चार घंटे के भीतर स्थिति सामान्य कर दी गई। प्रारंभिक जांच में सामने आया कि घटना एस-1 कोच और सामान्य कोच के बीच कपलर (कपलिंग) टूटने से हुई है। इसमें किसी प्रकार की आपराधिक या मानवीय लापरवाही की बात नहीं मिली है। रेलवे प्रशासन ने तकनीकी कारणों की विस्तृत जांच के आदेश दे दिए हैं। समय रहते ट्रेन की स्पीड कम होने से एक बड़ी दुर्घटना टल गई और सभी यात्री सुरक्षित रहे।

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