UP में भरे जाएंगे सचिवों के रिक्त पद, मानदेय पर होगी तैनाती
उत्तर प्रदेश में सहकारी समितियों में सचिवों के रिक्त पदों को भरने की तैयारी शुरू हो गई है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर मानदेय पर तैनाती की घोषणा की गई है। स्नातक और ट्रिपल सी पास उम्मीदवार आवेदन कर सकते हैं, और उन्हें 10 हजार रुपये प्रति माह मानदेय मिलेगा। नियुक्ति 31 मार्च, 2026 तक के लिए होगी।

जितेन्द्र पाण्डेय, गोरखपुर। एक सचिव के जिम्मे एक साधन सहकारी समिति हो, बस्ती में निरीक्षण के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा दिए गए इस आदेश के अनुपालन की तैयारी शुरू कर दी गई है। जागरण में प्रकाशित सीएम के संबोधन का संज्ञान लेकर आयुक्त एवं निबंधक सहकारिता योगेश कुमार ने प्रदेश भर में खाली चल रहे सचिवों के पदों पर मानदेय पर तैनाती की घोषणा की है।
निर्देश दिया है कि जिस जिले में जितने पद खाली है, वहां पर आवेदन मांगकर 10 दिन के अंदर नियुक्ति की प्रक्रिया को पूरी करें। आयुक्त एवं निबंधक सहकारिता योगेश कुमार ने नियुक्ति प्रक्रिया के मानक भी तय किए हैं, जिसमें सख्त निर्देश है कि समिति के अध्यक्ष और प्रभारी सचिव के नजदीकी और रिश्तेदारों को कतई न रखा जाए।
आयुक्त एवं निबंधक सहकारिता योगेश कुमार की ओर से जारी पत्र में भर्ती के लिए स्नातक और ट्रिपल सी या समकक्ष डिप्लोमा धारक ही पात्र होंगे। आवेदक की आयु 21 से 40 के बीच हो और जिस ब्लाक में समिति हो, आवेदनकर्ता भी वहीं का स्थायी निवासी हो। चयन के बाद प्रति माह 10 हजार रुपये मानदेय मिलेगा। तैनाती 31 मार्च, 2026 तक के लिए होगी।
इस संबंध में जिला सहायक आयुक्त एवं सहायक निबंधक नीरज कुमार ने बताया कि आयुक्त एवं निबंधक का पत्र जारी हुआ है। पूरे प्रदेश में खाली समितियों पर नियुक्ति होनी है। जिन सचिवों के पास समिति का प्रभार है, उनकी देखरेख में ये काम करेंगे। इससे समितियां बंद नहीं रहेंगी और किसानों को भी भटकना नहीं पड़ेगा।
तीन सदस्यीय कमेटी करेगी नियुक्ति
आयुक्त एवं निबंधक सहकारिता ने नियुक्ति के लिए तीन सदस्यीय कमेटी बनाने को कहा है। इस कमेटी के अध्यक्ष सहायक आयुक्त एवं सहायक निबंधक को बनाया गया है। वहीं सदस्य के रूप में जिला सहकारी बैंक के मुख्य कार्यपालक और तहसील स्तर पर अपर जिला सहकारी अधिकारी को नामित किया गया है। ये तीनों आवेदनों की स्क्रूटनी करके पात्र आवेदकों को समितियों पर तैनात करेंगे।
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मुख्यमंत्री ने दिए थे निर्देश, जागरण ने भी उठाया था मुद्दा
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 10 नवंबर को बस्ती जनपद में विकास योजनाओं की समीक्षा की थी। भाजपा जिलाध्यक्ष विवेकानन्द मिश्र ने एक सचिव को दो-तीन केंद्र आवंटित होने से खाद-बीज के लिए परेशान किसानों की समस्या की ओर उनका ध्यान आकृष्ट कराया था।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिया किया एक सचिव के पास एक समिति ही होगी। इसके बाद दैनिक जागरण ने गोरखपुर-बस्ती मंडल में समाचारीय अभियान चलाया, जिसमें बताया गया कि एक-एक सचिव के पास दो से तीन तो कुछ के पास चार से पांच समितियों का प्रभार है।

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