Cough Syrup: कफ सीरप बच्चों को देने से पहले जान लें ये जरूरी बातें, हो सकता है जानलेवा
दवाइयों के बारे में कम जानकारी खतरनाक हो सकती है। बच्चों को दवा देते समय विशेष सावधानी बरतें और हमेशा डॉक्टर की सलाह लें। पुरानी और खुली दवाइयों का से ...और पढ़ें

जागरण संवाददाता औरैया। दवाइयां के प्रति कम जानकारी कई बार जानलेवा साबित हो जाती है। लोग घरों में रखी दवाइयां को उनकी एक्सपायरी डेट के अनुसार प्रयोग करते हैं। जो पूर्णतः गलत है। डाक्टरों के अनुसार कोई भी सिरप खुलने के एक महीने के बाद खराब हो जाता है। वहीं एंटीबायोटिक दवाएं मात्र एक सप्ताह तक कारगार रहती हैं। इसके साथ ही कई लोग दवाई खाने में लापरवाही करते हैं। लेट कर दवाई लेने में कई बार सांस नली में दवाई चली जाती है। जो जानलेवा हो सकती है।
मात्रा का रखें विशेष ध्यान
जिला संयुक्त चिकित्सालय में तैनात बाल रोग विशेषज्ञ डा. पंकज कुमार ने बताया कि जागरूकता के अभाव में कई बार उनके अभिभावक ही उनके जान के दुश्मन बन जाते हैं। बच्चों को उनके वजन व क्षमता के अनुसार डोज दी जाती है। लेकिन अधिकांश ग्रामीण क्षेत्रों में कम जानकार, झोलाछाप व मेडिकल संचालक सीरप तो दे देते हैं। लेकिन उसकी मात्रा पर ध्यान नहीं देते हैं। ऐसे में ओवरडाेज बच्चों के लिए जानलेवा साबित हो सकती है।
एक्सपायरी डेट के अनुसार प्रयोग करें
आमतौर पर घरों में रखी दवाइयों को लोग उनकी एक्सपायरी डेट के अनुसार प्रयोग करते हैं। लेकिन सिरप खुलने के बाद केवल एक माह तक प्रयोग किया जा सकता है। एक माह के बाद उसका दुष्प्रभाव हो सकता है। वहीं किसी भी प्रकार की एंटीबायोटिक खुलने के केवल सात दिन तक सुरक्षित रहती है। बताया कि कई मामलों में बच्चों को लिटाकर दवाई दे दे जाती है। ऐसे में दवा श्वांस नली में जाने की संभावना रहती है। जिससे बच्चों की मौत भी हो सकती है। इस तरह से लेट कर दवाई लेना बड़ों के लिए भी जानलेवा हो सकता है।
कुछ विशेष बातें
- बिना डाक्टर की परामर्श के मेडिकल स्टोर से दवा लेकर सेवन ना करें
- हमेशा ब्रांडेड कंपनी की दवा ही खरीदें
- लेटकर दवाई का सेवन भूलकर भी न करें
- घर में रखी पुरानी खुली हुईं दवाओं के सेवन से बचें
- बच्चों को विशेषज्ञ डाक्टरों को ही दिखाई

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