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    Akhilesh Dubey Case: अखिलेश दु़बे के भाई और भतीजी की तलाश, वक्फ की जमीन कब्जाने में आरोपित

    Updated: Sun, 07 Sep 2025 11:29 PM (IST)

    कानपुर के सिविल लाइंस में वक्फ की जमीन पर कब्जे के मामले में पुलिस ने अखिलेश दुबे के भाई और भतीजी की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की लेकिन वे नहीं मिले। एसआईटी जांच के बाद नौ लोगों पर मुकदमा दर्ज किया गया था। आरोप है कि आरोपित परिवार ने जमीन पर गेस्ट हाउस बना रखा है।

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    भाई सर्वेश और भतीजी की तलाश में छापेमारी।

    जागरण संवाददाता, कानपुर। सिविल लाइंस में वक्फ की बेशकीमती जमीन कब्जाने में आरोपित अखिलेश दुबे के भाई सर्वेश और भतीजी सौम्या की गिरफ्तारी के लिए ग्वालटोली पुलिस ने साकेत नगर स्थित घर पर छापेमारी की। हालांकि दोनों ही पुलिस के हाथ नहीं आए। पुलिस संभावित ठिकानों और रिश्तेदारों के यहां की दोनों तलाश कर रही है।

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    एसआइटी की जांच के बाद 13 अगस्त को मामले में अखिलेश दुबे और इंस्पेक्टर समेत नौ लोगों के खिलाफ ग्वालटोली थाने में मुकदमा दर्ज किया गया था। आरोपित परिवार ने जमीन पर गेस्ट हाउस और कार्यालय बना रखा है।

    सिविल लाइंस में नवाब मंसूर अली ने करीब तीन बीघा जमीन को वर्ष 1892 में शेख फखरुद्दीन हैदर को बेच दिया था। शेख फखरुद्दीन हैदर के कोई औलाद नहीं थी, इसलिए उन्होंने जमीन को वक्फ को सौंप दी थी। साथ ही एग्रीमेंट किया था कि जमीन की देखरेख करने वाला उनका वंशज (मुतव्वली) ही होगा। इसके बाद उनके चचेरे भाई हाफिज हलीम को वर्ष 1911 में 99 साल का पट्टा कर दिया गया था, जिसमें छह-सात किराएदार बसा दिए गए थे।

    वर्ष 2010 में पट्टा खत्म होने के बाद उनकी पांचवीं पीढ़ी के वंशज परेड के नवाब इब्राहिम हाता निवासी मोईनुद्दीन आसिफ जाह किराएदारों को निकलना चाहते थे, लेकिन मामला कोर्ट पहुंचने के बाद ही अखिलेश दुबे का गैंग सक्रिय हो गया। कुछ किराएदारों को रसूख की दम पर खदेड़ दिया। कुछ को रुपयों का लालच देकर पावर आफ अटार्नी हासिल कर ली, जो नहीं माने तो कूचरचित दस्तावेजों के जरिए तीन बीघा जमीन पर कब्जा कर लिया था।

    ग्वालटोली थाना प्रभारी संजय गौड़ ने बताया कि मोईनुद्दीन आसिफ जाह की शिकायत पर अखिलेश दुबे, उनके भाई सर्वेश और भतीजी सौम्या समेत जयप्रकाश, शिवांश, राजकुमार शुक्ला और इंस्पेक्टर सभाजीत पर मुकदमा दर्ज किया गया था। आरोपितों की गिरफ्तारी के लिए लगातार दबिश दी जा रही है। अखिलेश के भाई सर्वेश और उसकी भतीजी की तलाश में घर पर छापेमारी की गई थी। हालांकि दोनों ही नहीं मिले हैं। तलाश जारी है। जल्द ही आरोपितों को गिरफ्तारी की जाएगी।

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