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    फार्म स्टे योजना में योगी सरकार देगी 40 करोड़ तक सब्सिडी, ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करने की दिशा में बढ़े कदम

    Updated: Wed, 10 Sep 2025 07:00 AM (IST)

    लखनऊ में पर्यटन विभाग ने ग्रामीण अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए फार्म-स्टे योजना में निवेश पर सब्सिडी देने का फैसला किया है। निवेशकों को दो करोड़ से चालीस करोड़ रुपये तक की सब्सिडी मिलेगी। महिला उद्यमियों और अनुसूचित जाति/जनजाति के निवेशकों को विशेष छूट दी जाएगी। ब्याज सब्सिडी और स्टाम्प ड्यूटी में भी छूट मिलेगी।

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    उत्तर प्रदेश के मुख्‍यमंत्री योगी आद‍ित्‍यनाथ।- फाइल फोटो

    राज्य ब्यूरो, लखनऊ। पर्यटन विभाग ने ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करने व रोजगार सृजन के लिए फार्म-स्टे योजना में निवेशकों को सब्सिडी व अन्य छूट व सुविधाएं प्रदान किए जाने का निर्णय किया है। पांच श्रेणियों के तहत दो करोड़ रुपये से लेकर अधिकतम चालीस करोड़ रुपये तक सब्सिडी प्रदान की जाएगी।

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    पर्यटन व संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह के अनुसार, पहली बार ग्रामीण क्षेत्र में फार्म-स्टे आवास विकसित व संचालित करने के लिए निवेशकों से प्रस्ताव आमंत्रित किए गए हैं। योजना के तहत पूंजी निवेश पर सब्सिडी प्रदान की जाएगी। 10 लाख रुपये से 10 करोड़ रुपये के बीच निवेश पर 25 प्रतिशत (अधिकतम दो करोड़ रुपये), 50 करोड़ रुपये तक 20 प्रतिशत (अधिकतम 7.5 करोड़ रुपये), 200 करोड़ रुपये तक 15 प्रतिशत (अधिकतम 20 करोड़ रुपये), 500 करोड़ रुपये तक 10 प्रतिशत (अधिकतम 25 करोड़ रुपये) तथा 500 करोड़ रुपये से अधिक के निवेश पर 10 प्रतिशत (अधिकतम 40 करोड़ रुपये) सब्सिडी प्रदान की जाएगी। निवेशकों को सामान्य प्रोत्साहनों के अलावा अतिरिक्त सब्सिडी भी दी जाएगी।

    महिला उद्यमियों, अनुसूचित जाति/जनजाति व पिछड़ा वर्ग के निवेशकों को विशेष रियायतें मिलेंगी। इसी तरह फोकस टूरिज्म डेस्टिनेशन में स्थापित किए जाने वाले प्रोजेक्ट्स को भी पांच प्रतिशत अतिरिक्त सब्सिडी प्रदान की जाएगी। सब्सिडी अधिकतम 30 प्रतिशत की सीमा तक ही सीमित रहेगी। पर्यटन क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा देने के लिए ब्याज सब्सिडी का प्रविधान किया गया है।

    इसके तहत पांच करोड़ रुपये तक के बैंक ऋण पर पांच प्रतिशत ब्याज सब्सिडी दी जाएगी। एक निवेशक को प्रति वर्ष अधिकतम 25 लाख रुपये तक की सब्सिडी मिल सकेगी, जो अधिकतम पांच वर्षों तक लागू रहेगी। साथ ही स्टांप ड्यूटी, भूमि रूपांतरण शुल्क व विकास शुल्क पर शतप्रतिशत छूट प्रदान की जाएगी। नई व्यवस्था के तहत ऐसी इकाइयां, जो 50 या उससे अधिक स्थानीय कर्मचारियों की नियुक्ति करेंगी, उन्हें नियोक्ता द्वारा जमा किए जाने वाले ईपीएफ योगदान की प्रतिपूर्ति सरकार द्वारा की जाएगी। यह सुविधा अधिकतम पांच वर्षों तक उपलब्ध रहेगी।

    दिव्यांग जनोन्मुखी इकाइयों को प्रोत्साहित करने के लिए नई सुविधा लागू की गई है। इसके तहत यदि कोई इकाई दिव्यांग कर्मचारियों को रोजगार देती है, तो उसे प्रति कर्मचारी 1,500 रुपये प्रतिमाह की आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी। यह सुविधा अधिकतम पांच कर्मचारियों तक मान्य होगी। प्रमुख सचिव, पर्यटन व संस्कृति मुकेश कुमार मेश्राम ने कहा कि फार्म स्टे योजना का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण परिवारों को प्रत्यक्ष लाभ पहुंचाना है।

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