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    UP News: ई-कचरे के प्रबंधन में नगर विकास विभाग कटघरे में, चार साल में सिर्फ एक ही ई-वेस्ट निस्तारण यूनिट का पंजीकरण

    Updated: Wed, 27 Aug 2025 11:04 AM (IST)

    उत्तर प्रदेश में ई-कचरा प्रबंधन को लेकर नगर विकास विभाग की आलोचना हो रही है। हर साल जितना ई-कचरा उत्पन्न होता है उसके मुकाबले निस्तारण बहुत कम है जिससे पर्यावरण और स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ रहा है। ई-अपशिष्ट प्रबंधन नियम 2022 लागू होने के बाद कुछ सुधार हुआ है लेकिन निस्तारण यूनिटों की संख्या अभी भी अपर्याप्त है। कैग ने भी इस लापरवाही पर सरकार की आलोचना की है।

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    तस्वीर का इस्तेमाल प्रतीकात्मक प्रस्तुतीकरण के लिए किया गया है। जागरण

    राज्य ब्यूरो, लखनऊ। प्रदेश में ई-कचरे (इलेक्ट्रॉनिक वेस्ट) का जितना निस्तारण हो रहा है, उससे कई गुना ज्यादा हर साल निकल रहा है। सही तरीके से निस्तारण न होने से पर्यावरण, मानव और पशुओं सभी के स्वास्थ्य को नुकसान पहुंच रहा है। 

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    प्रदेश सरकार में ई-अपशिष्ट प्रबंधन नियम 2022 में बनाया गया और दो नवंबर 2022 को इसे अधिसूचित किया गया। इसके बाद से ई-कचरे के निस्तारण में थोड़ी तेजी आई और कुल निकलने वाले ई-कचरे में से 60 प्रतिशत के निस्तारण की व्यवस्था है।

    प्रदेश में ई-कचरे के निस्तारण के लिए 117 यूनिट प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से पंजीकृत हैं।जबकि 2021 में इनकी संख्या 116 थी। इस तरह चार साल में एक ही यूनिट का पंजीकरण हुआ है।

    प्रदेश में सबसे अधिक मेरठ में 34, इसके बाद गाजियाबाद में 25, बुलंदशहर में 14, मुजफ्फरनगर में 12, मथुरा और ग्रेटर नोएडा में नौ-नौ, सहारनपुर में पांच, मुरादाबाद, नोएडा, बरेली में दो-दो, उन्नाव, वाराणसी, आजमगढ़ में एक-एक यूनिट हैं।

    इनमें से 106 यूनिट ई-कचरे को पुनर्चक्रण (रिसाइकिल) और 11 यूनिट उनको दोबारा कार्य के लायक बनाने का कार्य करती हैं, लेकिन अभी इन यूनिट की संख्या दोगुना करने की जरूरत है। जिससे इकट्ठा किए गए कचरे को समय से निस्तारित कराया जा सके। 

    प्रदेश में ई-कचरे के निस्तारण में लापरवाही पर कैग ने भी प्रदेश सरकार को कटघरे में खड़ा किया है। कैग ने पाया कि वर्ष 2016-17 से 2020-21 तक कानपुर, गाजियाबाद नगर निगम में तीन-तीन साल और नगर पालिका परिषद औरैया, बलरामपुर में भी कई वर्षों से ई-कचरा जमा पाया गया, जबकि इन्हें अधिकृत एजेंसियों को निस्तारण के लिए दिया जाना चाहिए था। 

    नियमानुसार प्रत्येक निर्माता, थोक उपभोक्ता, संग्रह केंद्र, व्यापारी, नवीनीकरणकर्ता, उसे अलग-अलग करने वाले, दोबारा इस्तेमाल लायक बनाए जाने वाले ई-कचरे का 180 दिन के लिए ही भंडारण कर सकते हैं।

    ई-कचरा प्रबंधन यूनिट की संख्या

    वर्ष यूनिट
    2017 30
    2018 43
    2019 59
    2020 68
    2021 116
    2025 117