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    यूपी के 41 गांवों के किसानों को मिलेगा मुआवजा, प्रशासन ने शुरू कर दी तैयारी

    Updated: Tue, 26 Aug 2025 09:18 PM (IST)

    मुरादाबाद के कांठ तहसील क्षेत्र में बाढ़ से प्रभावित 41 गांवों के 1120 किसानों को फसल नुकसान का मुआवजा मिलेगा। रामगंगा नदी में जलस्तर बढ़ने से धान उड़द और गन्ना जैसी फसलें बर्बाद हो गई थीं। प्रशासन ने प्रभावित किसानों को चिह्नित कर मुआवजा वितरण की प्रक्रिया तेज कर दी है और अन्य गांवों में सर्वे जारी है। लेखपालों को जल्द रिपोर्ट देने के निर्देश दिए गए हैं।

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    41 गांवों के 1120 किसानों को मिलेगा मुआवजा।- सांकेत‍िक तस्‍वीर

    संवाद सूत्र, कांठ। तहसील क्षेत्र के 41 गांवों के 1,120 किसानों को बाढ़ के पानी से बर्बाद हुईं फसलों के नुकसान का मुआवजा मिलेगा। इसके लिए तहसील प्रशासन ने इन किसानों को चिह्नित कर कार्रवाई तेज कर दी है। हालांकि, अभी कई गांवों के किसानों की बर्बाद फसलों का सर्वे कराया जा रहा है। इससे इन किसानों की संख्या बढ़ सकती है।

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    तहसील क्षेत्र में पिछले दिनों बाढ़ आने से रामगंगा नदी का जलस्तर बढ़ गया था। इससे किसानों की धान, उड़द, गन्ना समेत अन्य फसलें बर्बाद हो गई थीं। तहसील क्षेत्र में कुल 201 गांव हैं। अब तहसील प्रशासन ने 18 गांवों को बाढ़ ग्रस्त घोषित किया है। इन गांवों के 950 किसानों की 130 हेक्टेयर भूमि पर गन्ना, धान, सब्जी समेत अन्य फसलें नष्ट हुईं हैं। इसके साथ ही 23 और गांव तहसील प्रशासन, राजस्व विभाग ने चिह्नित कराए हैं।

    इन गांवों के किसानों की बारिश का पानी भरने से फसलें नष्ट हुई हैं। इन 23 गांवों में ऐसे 170 किसान के चिह्नित किए गए हैं। इनकी 23 हेक्टेयर भूमि पर खड़ी फसलें नष्ट हुईं हैं। एसडीएम संतदास पवार ने तहसीलदार को निर्देश दिए थे कि राजस्व विभाग की टीमें इन गांवों में भेज कर फसलों के नुकसान, किसानों के बाढ़ ग्रस्त गांव का आकलन कर रिपोर्ट तहसील कार्यालय को उपलब्ध कराए जाएं। तहसीलदार राजकुमार ने सभी हलका लेखपालों व राजस्व निरीक्षकों से किसानों की फसलों के नुकसान का आकलन कराया। इसमें तहसील क्षेत्र के 41 गांवों के 1,120 किसानों की फसलों के नुकसान का आकलन किया गया।  अब इन किसानों को मुआवजा दिलाने के लिए चयन किया गया है।

    तहसीलदार राजकुमार ने बताया कि जिन किसानों की फसलों के नुकसान का आकलन अभी तक लेखपालों ने नहीं किया है, उन सभी लेखपालों को तत्काल फसलों के नुकसान का आकलन कर रिपोर्ट तहसील कार्यालय में उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। जिसे शीघ्र ही किसानों को बाढ़ एवं अतिवृष्टि से हुए नुकसान का मुआवजा दिलाया जा सके।

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