देहरादून में FDA की छापेमारी, सात मेडिकल स्टोर के लाइसेंस रद्द
देहरादून में, बच्चों की खांसी-जुकाम की दवाओं पर रोक के बाद FDA ने छापेमारी की। सात मेडिकल स्टोर के लाइसेंस रद्द किए गए और एक निलंबित। टीम ने विभिन्न क्षेत्रों में निरीक्षण किया और दवाओं के नमूने लिए। विक्रेताओं को अगली सूचना तक दवाएं न बेचने के निर्देश दिए गए। यह कार्रवाई दैनिक जागरण में प्रकाशित खबर के बाद की गई।

एफडीए ने की छापेमारी सात निरस्त व एक मेडिकल स्टोर का लाइसेंस किया निलंबित. Concept Photo
जागरण संवाददाता, देहरादून। बच्चों की सुरक्षा बच्चों को दी जाने वाली खांसी और सर्दी-जुकाम की दवाओं के क्रय-विक्रय पर तत्काल रोक लगाने के लिए खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन (एफडीए) की ओर से देहरादून में चलाए गए अभियान में सात मेडिकल स्टोर के लाइसेंस निरस्त किए हैं। वहीं, एक मेडिकल स्टोर का लाइसेंस निलंबित कर दिया है।
बीते मंगलवार को दैनिक जागरण ने शहर के विभिन्न क्षेत्रों में मेडिकल स्टोर की पड़ताल की थी। ''''एफडीए का आदेश हवा, खुलेआम बिक रहा बच्चों का कफ सीरप'''' शीर्षक से खबर प्रकाशित के बाद एफडीए टीम ने संज्ञान लेते हुए विभिन्न क्षेत्रों में अभियान चलाते हुए कार्रवाई की।
स्वास्थ्य सचिव एवं खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन आयुक्त डा. आर राजेश कुमार के निर्देश के क्रम में औषधि निरीक्षक मानेंद्र सिंह राणा के नेतृत्व में टीम ने चकराता रोड, किशननगर चौक, बल्लूपुर चौक, कांवली रोड, बल्लीपुर चौक और प्रेमनगर क्षेत्रों में मेडिकल स्टोरों का औचक निरीक्षण किया। निरीक्षण में बच्चों को दी जाने वाली खांसी और सर्दी-जुकाम की दवाओं के क्रय-विक्रय पर तत्काल रोक लगाई गई। जिन दुकानों में यह दवाएं भंडार थीं, उन्हें मौके पर सील कर दिया गया।
आलमेड लाइफ साइंसेज, 04 विहार बल्लीवाला चौक, अजंता फार्मेसी जीएमएस रोड निकट पीएफ कार्यालय, आरंभ एंटरप्राइजेस 46 चक्कीटोला निरंजनपुर जीएमएस रोड, बीएसबी क्यौर दुर्गा एन्क्लेव कारगी ग्रांट, बी. चेम बायोटेक रामपुर कलां विकासनगर, शान मेडिकल स्टोर ग्राम जमनपुर बीहाइव कालेज रोड सेलाकुई, स्माइल मेडिकल स्टोर सहारनपुर रोड हर्बटपुर विकासनगर के लाइसेंस निरस्त किए। जबकि पंवार मेडिकोज नगर निगम प्रापर्टी नंबर 2 गली नंबर 10 वीरभद्र रोड ऋषिकेश का लाइसेसं निलंबित कर दिया है।
टीम ने मौके पर 11 सीरप के नमूने जांच के लिए लिए। जांच में कोल्ड्रिफ, रेस्पिफ्रेश-टीआर और रीलाइफ जैसे सीरप किसी भी मेडिकल स्टोर में उपलब्ध नहीं पाए गए। टीम ने विक्रेताओं को निर्देशित किया गया कि इन औषधियों का विक्रय अगली सूचना तक न करें। निरीक्षण के दौरान यह भी पाया गया कि कई विक्रेताओं ने स्वयं संज्ञान लेकर इन दवाओं को पहले ही दुकान से हटा दिया था। अपर आयुक्त और ड्रग कंट्रोलर ताजबर सिंह जग्गी ने कहा एफडीए का अभियान निरंतर जारी रहेगा।
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