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    चुनावी ड्यूटी में उलझे शिक्षक, एफएलएन प्रशिक्षण का तीसरा दिन ठप, डायट को नुकसान, बच्चों की सीख पर असर

    Updated: Mon, 17 Nov 2025 06:46 PM (IST)

    रुड़की में आधारभूत साक्षरता और संख्या ज्ञान को बढ़ावा देने के लिए आयोजित एफएलएन कार्यशाला का तीसरा दिन चुनावी ड्यूटी के कारण बाधित हो गया। शिक्षकों की चुनाव में ड्यूटी लगने से प्रशिक्षण स्थगित करना पड़ा, जिससे डायट को आर्थिक नुकसान हुआ। 

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    सोमवार को एफएलएन प्रशिक्षण कार्याशाला में उपस्थित शिक्षक। जागरण 

    संवाद सहयोगी जागरण,रुड़की: आधारभूत साक्षरता और संख्या ज्ञान को मजबूत करने के लिए चल रही पांच दिवसीय एफएलएन कार्यशाला का तीसरा दिन चुनावी ड्यूटी की भेंट चढ़ गया। सहकारी साधन समिति के चुनाव में अधिकांश शिक्षकों की तैनाती होने से प्रशिक्षण कार्यक्रम स्थगित करना पडा। जबकि केंद्र सरकार के सर्वे में हरिद्वार जिले के बच्चों की स्थिति बेहद चिंताजनक मिली थी, जिसके मद्देनजर यह कार्यशाला शुरू की गई थी।

    सोमवार को जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डायट) रुड़की में प्राथमिक शिक्षा की बुनियाद को मजबूत करने के उद्देश्य से पांच दिवसीय एफएलएन कार्यशाला की शुरुआत हुई थी।

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    लक्ष्य साफ था, कक्षा एक से तीन तक के बच्चों को अक्षरज्ञान और संख्याज्ञान विभागीय मानकों के अनुरूप सुदृढ़ करना, ताकि 2026 की सर्वे परख में जिले की तस्वीर बदली जा सके। लेकिन कार्यशाला के तीसरे दिन हालात बिल्कुल उलट हो गए।

    सहकारी साधन समिति के चुनाव में अधिकांश शिक्षकों की ड्यूटी लग गई, जिससे प्रशिक्षण सत्र जैसे-तैसे शुरू तो हुआ, पर आधे घंटे के भीतर ही इसे स्थगित करना पड़ा। चुनावी व्यस्तता शिक्षा प्रशिक्षण पर भारी पड़ गई। अधिकतर शिक्षकों ने वाट्सएप ग्रुप के माध्यम से अपनी मजबूरी बताकर अनुपस्थिति दर्ज करा दी, जबकि कुछ ही शिक्षक समय निकालकर पहुंच पाएं।

    लगातार कम होती उपस्थिति के चलते कार्यक्रम को रोकने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा। इससे न सिर्फ प्रशिक्षण की गति थम गई, बल्कि डायट को आर्थिक नुकसान भी झेलना पड़ा।

    कार्यक्रम समन्वयक भूपेंद्र सिंह ने बताया कि एफएलएन का लक्ष्य बच्चों के अधिगम स्तर में ऐसा सुधार लाना है, जिससे 2026 की सर्वे परख में जिले के परिणाम बेहतर हों।

    उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के सर्वे में हरिद्वार जिले की स्थिति बेहद निराशाजनक मिली थी, इसी वजह से प्रशिक्षण को गंभीरता से आयोजित किया गया था। लेकिन चुनावी ड्यूटी ने पूरी योजना को बाधित कर दिया।

    डायट प्राचार्य कैलाश डंगवाल ने बताया कि एफएलएन कार्यशाला बच्चों को पढ़ना, लिखना और मूलभूत गणितीय कौशल सिखाने का महत्वपूर्ण प्रयास है, पर शिक्षक न होने से प्रशिक्षण को रोकना मजबूरी बन गया। अब कार्यशाला को 21 नवंबर से दोबारा शुरू किया जाएगा। प्रशिक्षण के दौरान सुनील रतूडी और अन्य उपस्थित रहे।

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