सप्ताह के सातों दिन किसी न किसी देवी-देवता को समर्पित होते हैं। रविवार का दिन सूर्यदेव के लिए होता है। इस दिन सूर्यदेव की पूजा की जाती है।
रविवार के दिन सूर्यदेव की पूजा करने से आपके घर में खुशहाली और समृद्धि आ सकती है। इसके अलावा आपके बिगड़े काम धीरे-धीरे बनने लगते हैं।
आज हम आपको एक ऐसे मंत्र के बारे में बताएंगे, जिसका सूर्यदेव को अर्घ्य देते समय जाप करने से आपकी सारी मनोकामनाएं पूरी हो सकती है। आइए इसके बारे में विस्तार से जानें।
हम आपको सूर्याष्टकम मंत्र के बारे में बता रहे हैं। जो जातक सूर्यदेव को अर्घ्य देते समय सूर्याष्टकम मंत्र का जाप करते हैं, तो इससे उनकी सारी मनोकामनाएं पूरी हो सकती है।
आदिदेव नमस्तुभ्यं प्रसीद मम भास्कर। दिवाकर नमस्तुभ्यं प्रभाकर नमोऽस्तु ते, सप्ताश्वरथमारूढं प्रचण्डं कश्यपात्मजम् ।
श्वेतपद्मधरं देवं तं सूर्यं प्रणमाम्यहम्, लोहितं रथमारूढं सर्वलोकपितामहम् । महापापहरं देवं तं सूर्यं प्रणमाम्यहम्, त्रैगुण्यं च महाशूरं ब्रह्मविष्णुमहेश्वरम् ।
महापापहरं देवं तं सूर्यं प्रणमाम्यहम्, बृंहितं तेजःपुञ्जं च वायुमाकाशमेव च । प्रभुं च सर्वलोकानां तं सूर्यं प्रणमाम्यहम्, बन्धुकपुष्पसङ्काशं हारकुण्डलभूषितम् ।
एकचक्रधरं देवं तं सूर्यं प्रणमाम्यहम्, तं सूर्यं जगत्कर्तारं महातेजः प्रदीपनम् । महापापहरं देवं तं सूर्यं प्रणमाम्यहम्, तं सूर्यं जगतां नाथं ज्ञानविज्ञानमोक्षदम् । महापापहरं देवं तं सूर्यं प्रणमाम्यहम्।
इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। अध्यात्म से जुड़ी तमाम बड़ी खबरों के लिए पढ़ते रहें jagran.com