West Bengal: पांच साल के बेटे के साथ गायब हुई रूसी पत्नी, सुप्रीम कोर्ट पहुंचे पति, सास-सुसर
पांच साल के बेटे के साथ रूसी पत्नी गायब हो गई है। इसे लेकर उसके पति व सास-सुसर ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। बंगाल के हुगली जिले के रहने वाले सैकत बसु की चीन में काम के दौरान रूसी लड़की विक्टोरिया से मुलाकात हुई थी। बाद में उन्होंने शादी कर ली। उन्होंने मांग की कि दिल्ली पुलिस को सैकत के बेटे को छुड़ाने का आदेश दिया जाए।

राज्य ब्यूरो, जागरण, कोलकाता। पांच साल के बेटे के साथ रूसी पत्नी गायब हो गई है। इसे लेकर उसके पति व सास-सुसर ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। बंगाल के हुगली जिले के चंदननगर के रहने वाले सैकत बसु की चीन में काम के दौरान रूसी लड़की विक्टोरिया जिगालिना से मुलाकात हुई थी। बाद में उन्होंने शादी कर ली।
शादी के बाद विक्टोरिया के कहने पर सैकत 2019 में चीन से भारत लौट आया। वर्ष 2020 उन्हें एक पुत्र हुआ। सैकत के वकील सुभाशीष भौमिक ने न्यायमूर्ति सूर्यकांत की पीठ में मामले की शीघ्र सुनवाई का अनुरोध किया।
विदेश मंत्रालय के राजनयिक संपर्कों का इस्तेमाल करने की लगाई गुहार
उन्होंने मांग की कि दिल्ली पुलिस को सैकत के बेटे को छुड़ाने का आदेश दिया जाए। विदेश मंत्रालय के राजनयिक संपर्कों का इस्तेमाल किया जाए। जानकारी के मुताबिक चीन से भारत लौटने पर सैकत ने एक निजी कंपनी के लिए केंद्र सरकार के लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्रालय की विश्व बैंक परियोजना में सलाहकार के रूप में काम करना शुरू किया।
तभी सैकत और उसके परिवार को पता चला कि विक्टोरिया के पिता रूसी जासूसी एजेंसी फेडरल सिक्यूरिटी सर्विस के एक सेवानिवृत्त कर्मचारी थे। सैकत के पिता समीर बसु एक सेवानिवृत्त नौसेना अधिकारी हैं।
सेना मुख्यालय ले जाने के लिए बनाती थी दबाव
सैकत के पिता का आरोप है कि शादी के बाद विक्टोरिया लगातार दबाव डालती रही कि उसे कोलकाता स्थित सेना की पूर्वी कमान का मुख्यालय विजय दुर्ग (फोर्ट विलियम) ले जाया जाए। समीर यह जानकर राजी नहीं हुए कि विक्टोरिया के पिता एक जासूसी एजेंसी में काम करते हैं।
एक पूर्व रूसी जासूस की बेटी है विक्टोरिया
सैकत के पिता को शक है कि विक्टोरिया न केवल एक पूर्व रूसी जासूस की बेटी है, बल्कि खुद भी शायद एक रूसी जासूस है। जिसे रूसी जासूसी एजेंसी ने भारत की सैन्य जानकारी हासिल करने के लिए भर्ती किया है।
समीर ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि विक्टोरिया कोविड के दौरान प्रतिबंधों की अनदेखी करते हुए बच्चे को जन्म देने के लिए मास्को जाना चाहती थी। ताकि सैकत का बेटा भारतीय की बजाय रूसी नागरिक बन जाए। विक्टोरिया की मां इसके लिए मेरे बेटे को मोटी रकम देना चाहती थी।
कोर्ट पहुंच चुका है मामला
विक्टोरिया व सैकत ने अपने बेटे के अधिकार को लेकर कलकत्ता हाई कोर्ट और फिर सुप्रीम कोर्ट में मामला दायर किया था। सुप्रीम कोर्ट ने अपने अंतिम आदेश में कहा कि बेटा सप्ताह में तीन-तीन दिन माता-पिता के साथ रहेगा।
सैकत के परिवार ने सुप्रीम कोर्ट में अपनी शिकायत मे कहा कि सात जुलाई को विक्टोरिया सर्वोच्च न्यायालय के आदेश की अवहेलना करते हुए अपने बेटे को सैकत को लौटाए बिना गायब हो गई।
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