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    भारत और चीन से करीबी रिश्ता क्यों बनाना चाहता है कनाडा? ट्रंप टैरिफ के बीच उठाया ये कदम

    Updated: Mon, 13 Oct 2025 04:24 PM (IST)

    कनाडा अमेरिका के साथ नाजुक व्यापारिक संबंधों के बीच चीन और भारत के साथ अपने रिश्ते मजबूत कर रहा है। विदेश मंत्री अनीता आनंद व्यापार और निवेश बढ़ाने के लिए एशिया का दौरा कर रही हैं, हालांकि चीन और भारत के साथ पहले के तनावपूर्ण रिश्ते और अमेरिका की प्रतिक्रिया चुनौतियां पेश करती हैं। कनाडा अमेरिका से नया व्यापार समझौता चाहता है और चीन के साथ ऊर्जा सहयोग की संभावना तलाश रहा है।

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    कनाडा की विदेश मंत्री अनीता आनंद भारत और चीन दौरे पर (फोटो सोर्स- रॉयटर्स)

    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। कनाडा अब चीन और भारत के साथ अपने रिश्ते मजबूत करने की दिशा में काम कर रहा है, जबकि दूसरी ओर अमेिका के साथ उसके व्यापारिक रिश्ते नाजुक दौर में हैं। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप ने हाल ही में चीन पर नए टैरिफ लगाए हैं, जिससे बाजारों में गिरावट आई है।

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    कनाडा की विदेश मंत्री अनीता आनंद इस हफ्ते नई दिल्ली, मुंबई, सिंगापुर और चीन के हांगझोउ जा रही हैं। उनका उद्देश्य एशियाई देशों के साथ व्यापार और निवेश को बढ़ाना है। अनीता आनंद के लिए यह यात्रा आसान नहीं है क्योंकि कनाडा के चीन और भारत से रिश्ते पहले तनावपूर्ण हैं। साथ ही, चीन के साथ किसी भी कदम पर अमेरिका की प्रतिक्रिया का भी खतरा बना रहता है।

    ट्रंप ने चीन को दी थी धमकी

    अनीता ने कहा, "कनाडा हर देश से अपने कामगारों और कारोबारों के हित को प्राथमिकता देकर ही बातचीत करेगा। यह एक संप्रभु देश की नीति है।" प्रधानमंत्री मार्क कार्नी के कार्यकाल में यह नीति जस्टिन ट्रूडो की विदेश नीति से अलग है, जिसमें आर्थिक हितों को सबसे ऊपर रखा गया है।

    ट्रंप ने हाल ही में चीन से आने वाले उत्पादों पर 100% अतिरिक्त टैरिफ लगाने की धमकी दी थी, हालांकि बाद में उन्होंने समझौते के संकेत दिए। कनाडा ने पहले भी अमेरिका और चीन के बीच संतुलन बनाए रखने की कोशिश की है। स्टील, एल्युमिनियम और इलेक्ट्रिक वाहनों पर चीन से आयात पर लगाई गई पाबंदियां अब भ बरकरार हैं।

    अमेरिका से नया व्यापार समझौता चाहता है कनाडा

    कनाडा अमेरिका के साथ एक नया व्यापार समझौता चाहता है ताकि स्टील और एल्युमिनियम पर ट्रंप के टैरिफ से राहत मिल सके। चीन ने बदले में कनाडा के कैनोला, पोर्क और सीफूड पर टैरिफ लगाए हैं लेकिन हाल में उसने कैनोला जांच की समयसीमा बढ़ाई है, जिससे वार्ता की उम्मीद बनी है।

    कनाडा के प्रधानमंत्री कार्नी ने संकेत दिया है कि ऊर्जा क्षेत्र में चीन के साथ सहयोग की संभावना है। वे लिक्विफाइड नैचुरल गैस (LNG) की एशियाई देशों में आपूर्ति बढ़ाने पर जोर दे रहे हैं। वहीं, भारत के साथ 2023 में रुकी व्यापार वार्ता को फिर शुरू करने की कोशिश हो रही है।

    क्यों रुकी भारत-कनाडा की डील

    उस समय ट्रूडो ने भारत पर सिख अलगाववादी की हत्या का आरोप लगाया था, जिसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खारिज किया था। अब कार्नी सरकार के तहत दोनों देशों ने नए राजदूत नियुक्त किए हैं और सीमा-पार अपराधों पर जानकारी साझा करने का ढांचा बनाया है।

    अनीता आनंद ने बताया कि उन्होंने हाल ही में विदेश मंत्री एस जयशंकर से मुलाकात की थी और इस दौरे में फिर चर्चा करेंगी। उन्होंने कहा, "2023 में हमारे राजनयिक रिश्ते लगभग ठप थे। लेकिन अब दो साल बाद हमारे उच्चायुक्त वापस तैनात हैं और मैं खुद भारत दौरे पर हूं। यह एक-एक कदम से आगे बढ़ने की प्रक्रिया है।"

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