मोदी, पुतिन और चिनफिंग की जबरदस्त केमिस्ट्री... भारत की कूटनीति से ट्रंप को संदेश, पाकिस्तान परेशान
तियानजिन में राष्ट्रपति पुतिन ने पीएम मोदी का 10 मिनट इंतजार किया। दोनों नेता एक ही कार में 45 मिनट तक विमर्श करते रहे जो विश्व कूटनीति में दुर्लभ है। इसके बाद 45 मिनट तक द्विपक्षीय वार्ता हुई। यह मोदी और पुतिन के बीच गहरी समझ और भारत-रूस के भरोसे को दर्शाता है।

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। राष्ट्रपति पुतिन के बारे में यह मशहूर है कि कैसे वह जिन वैश्विक नेताओं को पसंद नहीं करते हैं उन्हें मुलाकात के लिए इंतजार कराते हैं। लेकिन तियानजिन में उल्टा हुआ। पुतिन पीएम मोदी का 10 मिनट तक इंतजार करते रहे कि वह आये तो साथ-साथ द्विपक्षीय बैठक के लिए होटल चलें। एक ही कार से होटल जाने का प्रस्ताव भी पुतिन का ही था।
इससे भी उल्लेखनीय बात यह है कि सम्मेलन स्थल से दोनों नेता जब एक ही कार से बैठक के लिए चयनित होटल पहुंचे तो वह कार के भीतर ही 45 मिनट तक विमर्श करते रहे। संभवत: हाल के वर्षों में विश्व कूटनीति में यह पहला मौका था जब दो बड़े देशों के नेता कार के भीतर इतने लंबे समय तक विमर्श किये हो। इस विमर्श के बाद मोदी और पुतिन औपचारिक तौर पर 45 मिनट तक द्विपक्षीय वार्ता की।
मोदी और पुतिन के बीच गहरी समझ-बूझ
यह सिर्फ मोदी और पुतिन के बीच गहरी समझ-बूझ को ही नहीं बताता बल्कि भारत और रूस के संबंधों के बीच भरोसे को भी बताता है। पिछले वर्ष जब मोदी रूस गये थे तब वह पुतिन के निजी निवास में साढ़े पांच घंटे रहे थे जिस पर पश्चिमी देशों की भृकुटियां भी तनी थीं।
भारत-रूस-चीन पर दुनिया की नजर
दरअसल, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दोबारा सत्ता में आने के बाद जिस तरह से अपने पुराने प्रतिद्वंदी देशों चीन व रूस के साथ भारत को भी निशाने पर लिया है, उसे देखते हुए तियाानजिन में इन तीनों देशों के प्रमुखों की एक-एक गतिविधियों पर वैश्विक समुदाय की नजर रही है।
मोदी, पुतिन और चिनफिंग के बीच दिखी जबरदस्त केमिस्ट्री
उधर, मोदी, पुतिन और चिनफिंग के बीच तियानजिन में जबरदस्त केमिस्ट्री देखने को मिली है। चीन ने पीएम मोदी को तिजानजिन में इस्तेमाल करने के लिए होंगशी एल5 लिमोजिन उपलब्ध कराई जो राष्ट्रपति चिनफिंग या विशेष विदेशी मेहमानों को ही दिए जाते हैं।
सम्मेलन की शुरुआत से पहले राष्ट्रपति चिनफिंग, राष्ट्रपति पुतिन और पीएम मोदी को एक साथ हंसी मजाक करते हुए देखा गया। हकीकत में पुतिन व चिनफिंग से सबसे ज्यादा द्विपक्षीय बैठकें पीएम मोदी ने ही की है। इनके संबंधों में कूटनीतिक से इतर एक आपसी केमिस्ट्री साफ तौर पर दिख रही थी।
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